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पूरे 10 दिनों तक घरों और पंडालों में गणेश जी की स्थापना कर पूजा-पाठ और भक्ति गीतों का आयोजन होता है.
इस साल गणेशोत्सव 27 अगस्त से शुरू होकर 6 सितंबर तक मनाया जाएगा.
गणेश चतुर्थी पर मोदक, लड्डू और फल चढ़ाए जाते हैं, लेकिन इनमें दूर्वा घास का महत्व सबसे ज्यादा है.
मान्यता है कि गणपति जी को दूर्वा अर्पित करने से मनोकामनाएं पूरी होती हैं और जीवन में सुख-समृद्धि आती है.
एक बार राक्षस से युद्ध के बाद गणेश जी का शरीर अत्यधिक गर्म हो गया था, तब दूर्वा घास से ही उन्हें शीतलता मिली.
तभी से दूर्वा घास गणेश जी की प्रिय मानी जाने लगी और इसे अर्पित करने की परंपरा शुरू हुई.
गणेश उत्सव हमें आस्था और भक्ति के साथ जीवन में सकारात्मकता बनाए रखने का संदेश देता है.
Disclaimer: इस खबर में दी गई जानकारी केवल सामान्य ज्ञान पर आधारित है.