शादी से पहले कुंडली बनवाना जरूरी है या नहीं—इस सवाल पर हमेशा बहस होती रही है. 

Photo Credit: Canva

ऐसे में वृंदावन के संत प्रेमानंद महाराज ने कुंडली और रिश्तों पर बेहद व्यावहारिक बात कही है.

जन्म की तारीख, समय और स्थान के आधार पर बनी कुंडली ग्रहों की स्थिति दिखाती है.

प्रेमानंद महाराज के अनुसार पारंपरिक विवाह में कुंडली बनवाना शास्त्रीय दृष्टि से जरूरी माना जाता है.

महाराज कहते हैं कि कुंडली बनवा लेने में कोई नुकसान नहीं है. यह एक शास्त्रीय पद्धति है.

सिर्फ कुंडली मिल जाने से रिश्ते नहीं चलते. अगर सोच और व्यवहार सही नहीं है, तो विवाद हो सकते हैं.

प्रेमानंद महाराज के अनुसार रिश्तों में शांति कुंडली से नहीं, बल्कि अच्छे विचार, संयम और समझदारी से आती है.

अगर जीवनसाथी गुस्से में है, तो दूसरे को शांत रहकर प्यार से बात करनी चाहिए. समझदारी से ही रिश्ते मजबूत होते हैं.

महाराज साफ कहते हैं कि किसी पर हाथ उठाना गलत और अमानवीय है. एक-दूसरे की कमियों को स्वीकार करें.

Disclaimer: इस खबर में दी गई जानकारी केवल सामान्य ज्ञान पर आधारित है.

Next: श्रीकृष्ण का सबसे शक्तिशाली मंत्र कौन सा है? प्रेमानंद जी से जानें