बारिश के मौसम में हरे और सूखे चारे की उपलब्धता घट जाती है, जिससे बकरियों को पोषण की कमी हो सकती है.

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नमी भरे मौसम में चारा जल्दी सड़ सकता है, जो बकरियों के लिए संक्रमण और पेट की बीमारियों का कारण बन सकता है.

अगर बकरी पर्याप्त चारा नहीं खाएगी, तो उसे जरूरी मिनरल्स, प्रोटीन और विटामिन नहीं मिल पाएंगे.

पोषण की कमी का सीधा असर बकरी के दूध की मात्रा और गुणवत्ता पर पड़ता है, जिससे उत्पादकता घटती है.

गर्भवती बकरी को जरूरी पोषण न मिलने से बच्चे का शारीरिक विकास रुक सकता है और वह कमजोर पैदा हो सकता है.

चारे में पोषक तत्वों की कमी से बच्चे का मस्तिष्क विकास प्रभावित हो सकता है और आंखों की रोशनी कमजोर हो सकती है.

बकरियों को हरा चारा देने से पहले उसमें थोड़ा सूखा और दानेदार चारा जरूर मिलाएं ताकि संतुलित पोषण मिले.

बरसात में हरे चारे को थोड़ा सुखाकर देना बेहतर होता है, जिससे उसमें मौजूद अतिरिक्त नमी खत्म हो जाए.

Disclaimer: इस खबर में दी गई जानकारी केवल सामान्य ज्ञान पर आधारित है.

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