मुर्रा भैंस भारत की सबसे प्रसिद्ध दूध देने वाली नस्ल है, जो हरियाणा, पंजाब और पश्चिमी उत्तर प्रदेश में ज्यादा पाई जाती है.

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यह भैंस रोजाना औसतन 12–15 लीटर दूध देती है, जबकि कुछ भैंसें 20–25 लीटर तक दूध देती हैं.

मुर्रा भैंस का रंग गहरा काला होता है, सिंग छोटे और पीछे की ओर मुड़े होते हैं, जबकि शरीर भारी और मजबूत होता है.

कान छोटे और पतले होते हैं, पूंछ करीब 6 इंच लंबी होती है और गर्दन लंबी-पतली. ये सब असली मुर्रा भैंस की खास पहचान हैं.

मुर्रा भैंस के दूध में फैट की मात्रा अधिक होती है, जो इसे मार्केट में ज्यादा दाम दिलाने में मदद करती है.

मुर्रा भैंस मजबूत और रोग-प्रतिरोधक होती है, इसलिए इसकी देखभाल आसान होती है.

नकली मुर्रा भैंस से बचने के लिए उसके सिंग, पूंछ, कान और दूध रिकॉर्ड की जांच जरूर करें.

मुर्रा भैंस उच्च दूध उत्पादन और लंबे समय तक लाभ देने के कारण डेयरी कारोबार के लिए बेहतरीन विकल्प है.

Disclaimer: इस खबर में दी गई जानकारी केवल सामान्य ज्ञान पर आधारित है.

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