अक्टूबर में चावल की सरकारी खरीद में रिकॉर्ड उछाल, किसानों के खाते में 17,000 करोड़ रुपये से ज्यादा पहुंचा

इस खरीद की बढ़ोतरी किसानों के लिए खुशखबरी साबित हो रही है. समय से पहले कटाई और तेजी से आवक के कारण किसानों के खाते में MSP के तहत बड़ी राशि पहुंची है, जिससे उनकी आर्थिक स्थिति मजबूत होगी. विशेषज्ञों का कहना है कि सही समय पर फसल बेचने और सरकारी खरीद का लाभ लेने वाले किसान इस साल अच्छे मुनाफे में रहेंगे.

नई दिल्ली | Updated On: 18 Oct, 2025 | 01:53 PM

Rice Procurement: देश के किसानों के लिए इस साल का खरीफ सीजन बेहद लाभकारी साबित हो रहा है. अक्टूबर महीने के पहले पंद्रह दिनों में सरकारी एजेंसियों द्वारा चावल की खरीद में भारी बढ़ोतरी देखी गई है. इस अवधि में 48 लाख टन से अधिक धान की खरीद हुई, जिसका मूल्य लगभग 17,240 करोड़ रुपये है. यह पिछले साल की तुलना में दोगुना से भी ज्यादा है. इस बढ़त का मुख्य कारण पंजाब और हरियाणा में फसल की जल्दी कटाई और आवक बताया जा रहा है.

पंजाब और हरियाणा ने तोड़े पुराने रिकॉर्ड

बिजनेस लाइन की खबर के अनुसार, इस साल पंजाब और हरियाणा में सरकारी खरीद ने पिछले सभी रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं.

कुल मिलाकर 16 अक्टूबर तक सेंट्रल पूल के लिए 48.47 लाख टन चावल खरीदा गया, जो पिछले साल इसी अवधि में 22.90 लाख टन था.

समय से पहले खत्म हो सकती है खरीद

इस साल केंद्र सरकार ने पंजाब और हरियाणा में धान की जल्दी कटाई को देखते हुए खरीद की प्रक्रिया मध्य सितंबर से शुरू करने की अनुमति दी थी. आधिकारिक रूप से हरियाणा में धान खरीद की अंतिम तिथि 15 नवंबर और पंजाब में 30 नवंबर रखी गई है. लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि फसल जल्दी कटने और आवक बढ़ने के कारण खरीद समय से पहले ही खत्म हो सकती है. वहीं, पंजाब के कुछ किसानों ने शिकायत की है कि उनके धान में नमी अधिक होने के कारण कमीशन एजेंट उन्हें तय न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) तुरंत नहीं दे रहे हैं और फसल को सुखाने के लिए कह रहे हैं.

सरकारी लक्ष्य और अन्य राज्यों की स्थिति

केंद्र सरकार ने खरीफ सीजन 2025-26 में कुल 463.49 लाख टन चावल खरीदने का लक्ष्य रखा है. इस साल हरियाणा से 36 लाख टन और पंजाब से 116 लाख टन धान खरीदने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. पिछले साल इन राज्यों में वास्तविक खरीद क्रमशः 36.17 लाख टन और 116.13 लाख टन रही थी. इसके अलावा, छत्तीसगढ़, ओडिशा और मध्य प्रदेश जैसे प्रमुख धान उत्पादक राज्यों में सरकारी खरीद 1 नवंबर से शुरू होगी.

किसानों के लिए बंपर अवसर

इस खरीद की बढ़ोतरी किसानों के लिए खुशखबरी साबित हो रही है. समय से पहले कटाई और तेजी से आवक के कारण किसानों के खाते में MSP के तहत बड़ी राशि पहुंची है, जिससे उनकी आर्थिक स्थिति मजबूत होगी. विशेषज्ञों का कहना है कि सही समय पर फसल बेचने और सरकारी खरीद का लाभ लेने वाले किसान इस साल अच्छे मुनाफे में रहेंगे. अक्तूबर में हुई यह बंपर खरीद न केवल किसानों के लिए राहत लेकर आई है, बल्कि देश में खाद्य सुरक्षा और सरकारी भंडारण को भी मजबूती देती है.

Published: 18 Oct, 2025 | 01:48 PM

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