हरियाणा में फसल बीमा में धांधली का आरोप, 50 हजार रुपये प्रति एकड़ मुआवजे को लेकर सियासत तेज
पीएम फसल बीमा योजना के जरिए केंद्र सरकार किसानों को आपदा से फसलों को होने वाले नुकसान से बचाती है. नुकसान के एवज में किसानों को मुआवजा दिया जाता है. हरियाणा में मुआवजे और प्रीमियम को लेकर धांधले के आरोप लगे हैं.
देशभर में हो रही तेज बारिश के चलते नदियां उफनाई हुई हैं और जलाशय अपनी क्षमता से ज्यादा भरे हुए हैं. ऐसे में गांवों और खेतों में बाढ़ का पानी पहुंचने से फसलों को नुकसान पहुंचा है. आरोप है कि नुकसान की भरपाई के लिए किसानों ने फसलों का बीमा कराया था, लेकिन बीमा कंपनियों ने प्रीमियम राशि किसानों से ज्यादा वसूली है. जबकि, मुआवजा कम दिया जाता है. पूर्व मुख्यमंत्री ने बाढ़ पीड़ित किसानों को 50 हजार रुपये प्रति एकड़ का मुआवजा देने की मांग की है.
राजस्थान, मध्य प्रदेश, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, बिहार समेत अन्य राज्यों में बाढ़ के चलते फसलों को भारी नुकसान पहुंचा है. जबकि, कई हिस्सों में किसानों ग्रामीणों के मकान भी ढह गए हैं और ग्रामीण इंफ्रास्ट्रक्चर को भारी नुकसान पहुंचा है. हरियाणा में किसानों को फसल बीमा के रूप में मिलने वाली राशि में धांधली के आरोप लगाए जा रहे हैं. पूर्व सीएम भूपेंद्र हुड्डा ने कहा कि पीएम फसल बीमा के नाम पर निजी कंपनियां किसानों का शोषण कर रही हैं.
फसल बीमा में धांधली की जा रही – भूपेंद्र हुड्डा
पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि किसानों के फसल बीमा के इंश्योरेंस में धांधली की जा रही है. किसानों से प्रीमियम ज्यादा लिया जाता है, जबकि मुआवजा कम मिलता है. यह बात उन्होंने भिवानी जिला के हजारों एकड़ भूमि जलमग्न होने के मुद्दे पर पूछे गए सवाल के जवाब में कही. पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि भिवानी जिला में दो दर्जन से अधिक गांवों में हजारों एकड़ भूमि अत्याधिक बरसात व नहरी ओवरफ्लो के कारण जलमग्न हो गई है. इसके लिए राज्य सरकार को तुरंत सर्वे करवाकर किसानों को प्रति एकड़ 50 हजार रूपये मुआवजा दे.
किसानों को ना दाम मिल रहा न फसल खरीद हो रही
भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि भाजपा के कार्यकाल में किसान बर्बादी की कगार पर पहुंच गए हैं. फसलों की खरीद समय पर नहीं होती और किसानों को न्यूनतम समर्थन मूल्य भी नहीं मिलता. वहीं, उन्होंने कहा कि मानसून सत्र में महंगाई, बेरोजगारी, कानून व्यवस्था के अलावा प्रदेश में बढ़ाए गए क्लेकटर रेट के मुद्दे को उठाएगी. क्योंकि बड़े स्तर पर जो क्लेकटर रेट में वृद्धि हुई है, उसका बोझ गरीब व्यक्ति पर पड़ा है. जम्मू-कश्मीर को पूर्ण राज्य का दर्जा दिए जाने के सवाल पर भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि यह भाजपा सरकार का वायदा था.
फसल बीमा कराने की अंतिम तारीख बढ़ी
पीएम फसल बीमा योजना के जरिए केंद्र सरकार किसानों को आपदा से फसलों को होने वाले नुकसान से बचाती है. नुकसान के एवज में किसानों को मुआवजा दिया जाता है. इस बार फसलों का बीमा कराने के लिए किसानों के पास 31 जुलाई तक का वक्त था. बीते दिनों केंद्रीय कृषि मंत्री के साथ राज्यों के कृषि मंत्रियों की बैठक में पीएम फसल बीमा योजना की की अंतिम तिथि 31 जुलाई से बढ़ाकर 15 अगस्त कर दी गई है. यूपी में 31 अगस्त तक किसान अपनी फसलों का बीमा करा सकते हैं.