पशुपालकों को 5 लाख रुपये जीतने का मौका, गोपाल रत्न पुरस्कार के लिए आवेदन विंडो खुली
गोपाल रत्न पुरस्कार 2025 के लिए आवेदन शुरू हो गए हैं. स्वदेशी नस्लों के पशुपालकों, डेयरी संगठनों और तकनीशियनों को 5 लाख रुपये तक का इनाम मिलेगा. आवेदन की अंतिम तिथि 15 सितंबर 2025 है.
देश में दूध उत्पादन और स्वदेशी नस्लों के संरक्षण को बढ़ावा देने के लिए केंद्र सरकार ने एक शानदार पहल की है- राष्ट्रीय गोपाल रत्न पुरस्कार 2025. यह पुरस्कार उन पशुपालकों, डेयरी संगठनों और कृत्रिम गर्भाधान तकनीशियनों को दिया जाएगा जो दुग्ध उत्पादन और पशुपालन के क्षेत्र में शानदार कार्य कर रहे हैं. इस पुरस्कार के लिए 15 अगस्त 2025 से आवेदन शुरू हो चुके हैं और 15 सितंबर 2025 तक इच्छुक लोग ऑनलाइन नामांकन कर सकते हैं.
क्या है गोपाल रत्न पुरस्कार और क्यों है यह खास?
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, गोपाल रत्न पुरस्कार की शुरुआत वर्ष 2021 में की गई थी. इसका उद्देश्य है देश में स्वदेशी गायों और भैंसों की नस्लों को बढ़ावा देना, उनके पालन-पोषण को प्रोत्साहित करना और दूध उत्पादन को वैज्ञानिक तरीके से बढ़ाना. यह पुरस्कार राष्ट्रीय गोकुल मिशन के तहत आता है, जो केंद्र सरकार की एक महत्वपूर्ण योजना है. यह पुरस्कार देशभर के पशुपालकों के लिए सम्मान, पहचान और प्रेरणा का जरिया बन चुका है.
कौन-कौन लोग कर सकते हैं आवेदन?
गोपाल रत्न पुरस्कार के लिए आवेदन करने के लिए कुछ योग्यताएं तय की गई हैं. निम्नलिखित लोग आवेदन कर सकते हैं-
- वे किसान, जो स्वदेशी नस्लों की गाय या भैंस पालते हैं और दूध उत्पादन में उत्कृष्ट योगदान दे रहे हैं.
- डेयरी सहकारी समितियां, दुग्ध उत्पादक कंपनियां (MPC) और FPO (किसान उत्पादक संगठन).
- प्रशिक्षित और प्रमाणित कृत्रिम गर्भाधान तकनीशियन (AIT) जो लगातार अच्छा प्रदर्शन कर रहे हैं.
- विशेष बात: पूर्वोत्तर और हिमालयी राज्यों के प्रतिभागियों के लिए अतिरिक्त पुरस्कार का भी प्रावधान है.
पुरस्कार की राशि और श्रेणियां
गोपाल रत्न पुरस्कार तीन प्रमुख श्रेणियों में दिए जाते हैं-
- सर्वश्रेष्ठ स्वदेशी नस्ल पालन करने वाले डेयरी किसान.
- सर्वश्रेष्ठ डेयरी सहकारी समिति / एफपीओ / एमपीसी.
- सर्वश्रेष्ठ कृत्रिम गर्भाधान तकनीशियन (AIT).
इनाम की राशि इस प्रकार है-
- पहला स्थान: 5,00,000 रुपये नकद + प्रमाणपत्र + स्मृति चिन्ह
- दूसरा स्थान: 3,00,000 रुपये नकद
- तीसरा स्थान: 2,00,000 रुपये नकद
- विशेष पुरस्कार (NER/हिमालयी राज्यों): 2,00,000 रुपये नकद.
- AIT श्रेणी में नकद नहीं, बल्कि प्रमाणपत्र व स्मृति चिन्ह दिया जाएगा.
कैसे और कहां करें आवेदन?
गोपाल रत्न पुरस्कार 2025 के लिए पूरी आवेदन प्रक्रिया ऑनलाइन है. इच्छुक लोग 15 अगस्त से 15 सितंबर 2025 के बीच आवेदन कर सकते हैं. आवेदन के लिए ये वेबसाइट्स विजिट करें-
आवेदन करने की प्रक्रिया-
- ऊपर दी गई वेबसाइट पर जाएं.
- गोपाल रत्न पुरस्कार 2025 के नामांकन फॉर्म को चुनें.
- मांगी गई जानकारियां भरें.
- आवश्यक दस्तावेज अपलोड करें.
- आवेदन सबमिट करें.
जरूरी दस्तावेजों में- पहचान पत्र, पशुओं की नस्ल प्रमाणित जानकारी, दूध उत्पादन रिपोर्ट, संस्था का पंजीकरण आदि शामिल हैं.
किन नस्लों को माना जाएगा पात्र?
गोपाल रत्न पुरस्कार में केवल स्वदेशी नस्लों को मान्यता दी जाती है. इनमें 70 से अधिक पंजीकृत नस्लें शामिल हैं.
गाय की प्रमुख नस्लें-
गिर, साहिवाल, राठी, हरियाणा, थारपारकर, नागौरी, मालवी, बछौर, ओंगोल, पुंगनूर आदि.
भैंस की प्रमुख नस्लें-
मुर्रा, मेहसाणा, जाफराबादी, पंढरपुरी, बन्नी, नागपुरी, नीली रवि आदि.