फिश फार्मिंग में अपनाएं ये तरकीब तो तेजी से बढ़ेगा वजन, सरकार 60 फीसदी सब्सिडी भी दे रही

हर मछली पालक कम जगह में मछली पालन कर तेजी से उनका वजन बढ़ाना चाहता है, ताकि उसे कम लागत में जल्दी मुनाफा हासिल हो सके.

Kisan India
नई दिल्ली | Published: 24 Jun, 2025 | 09:00 AM

आजकल मछली पालन एक बेहद लाभकारी और तेजी से बढ़ता व्यवसाय बन चुका है. एक तरफ जहां पारंपरिक मछली पालन में अधिक जगह और समय की आवश्यकता होती है, वहीं बायोफ्लॉक मॅाडल से कम जगह में अधिक उत्पादन कर पाना संभव हो गया है. इसे विशेष रूप से प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के तहत बढ़ावा दिया जा रहा है. इसके माध्यम से न केवल मछलियों की उत्पादकता बढ़ती है, बल्कि पर्यावरण भी संरक्षित रहता है.

कम लागत में फिश फार्मिंग का मॉडल बायोफ्लॉक

यह एक सांइटिफिक तरीका है, जिसमें मछलियों के साथ-साथ माइक्रोऑर्गेनिज़म और फ्लॉक सिस्टम का उपयोग किया जाता है. इसमें खास तौर पर पानी में घुलनशील ऑक्सीजन (डिसोल्वे ऑक्सीजन) की व्यवस्था की जाती है. वहीं बायोफ्लॉक (जैविक फ्लॉक) का निर्माण मछलियों के पानी में ऑर्गेनिक चिजों को मिक्स होने के बाद होता है. इससे पानी की क्वालिटी के साथ मछलियों की ग्रोथ भी सही तरीके से होती है. बायोफ्लॉक में, मछलियों के साथ-साथ माइक्रो ऑर्गेनिज़म्स भी होते है, जो मछलियों के लिए खाना और ऑक्सीजन प्रदान करता हैं.

बायोफ्लॉक तालाब कैसे बनाएं

बायोफ्लॉक तालाब को बहुत खास तरीके से तैयार किया जाता है. इसमें विशेष रूप से फ्लोक्स बनाने के लिए एक शेड का निर्माण भी किया जाता है. इसके साथ ही, पानी की गुणवत्ता बनाए रखने के लिए नियमित रूप से पानी की जांच करना जरूरी है. इस प्रक्रिया में कुछ खास उपकरणों की आवश्यकता होती है जैसे कि ऐरेटर, जिसे मछलियों को ऑक्सीजन मिलती है और ट्यूबवेल पंपसेट, जो पानी की कमी को पूरा करता हैं.

इसके साथ ही भारत सरकार ने प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना लागू की है. इस योजना के तहत, विशेष रूप से महिला और अनुसूचित जाति के लोगों को 60% का अनुदान दिया जाता है. इसके जरिए सरकार ने मछली पालन के क्षेत्र में अधिक विकास और रोजगार की संभावना बढ़ाई है. महिलाओं और अनुसूचित जाति के लोग इस योजना का लाभ उठाकर न केवल अपनी आजीविका में सुधार कर सकते हैं, बल्कि इस क्षेत्र में रोजगार के अवसर भी बढ़ा सकते हैं.

सब्सिडी के लिए घर बैठे करें आवेदन

बायोफ्लॉक मछली पालन योजना का लाभ उठाने के लिए ऑनलाइन आवेदन करने के लिए यूपी फिशरीज की आधिकारिक वेबसाइट fisheries.up.gov.in पर जाएं. इसके बाद “प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना” के तहत आवेदन लिंक पर क्लिक करें. आवेदन फॉर्म में मांगी गयी सभी सही जानकारी भरें और आवश्यक दस्तावेज अपलोड करें. आवेदन फार्म भरने के बाद ‘सबमिट’ बटन पर क्लिक करें.

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Published: 24 Jun, 2025 | 09:00 AM

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