धान पर 300 रुपये बोनस देने का वादा, गेहूं किसानों को MSP के अलावा 400 रुपये बोनस देंगे
Paddy Bonus: बिहार चुनाव नजदीक आते ही किसानों पर राजनीतिक दलों का फोकस बढ़ता जा रहा है. महागठबंधन के नेता तेजस्वी यादव ने किसानों को गेहूं और धान पर बोनस देने का वादा किया है. इसके अलावा पैक्स, व्यापार मंडलों को लेकर भी कई ऐलान किए हैं.
Bihar Election 2025: किसानों की कमाई अधिक हो और उन्हें फसलों का ज्यादा दाम मिले इसके लिए राज्य और केंद्र सरकारें काम कर रही हैं. बिहार चुनावी मैदान में उतरी राजनीतिक पार्टियों की ओर से भी किसानों के लिए कई लुभावने वादे किए गए हैं. अब तेजस्वी यादव ने धान किसानों को 300 रुपये बोनस देने का वादा किया है. इसके साथ ही कहा है कि उनकी सरकार बनने पर गेहूं किसामों को 400 रुपये बोनस दिया जाएगा.
गेहूं-धान पर एमएसपी के साथ बोनस देने का वादा
राजद नेता और इंडिया ब्लॉक के मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार तेजस्वी यादव ने मंगलवार को घोषणा करते हुए कहा कि अगर उनका गठबंधन सत्ता में आता है तो बिहार के किसानों को न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) के अलावा धान पर 300 रुपये प्रति क्विंटल और गेहूं पर 400 रुपये प्रति क्विंटल का बोनस मिलेगा. इसके अलावा उन्होंने कहा कि तेजस्वी यादव ने कहा कि राज्य के 8,400 पंजीकृत व्यापार मंडलों और पैक्स के प्रबंधकों को मानदेय मिलेगा.
धान पर 300 और गेहूं पर 400 रुपये बोनस देंगे
तेजस्वी यादव ने कहा कि अगर हम जीतते हैं तो किसानों का खास खयाल रखा जाएगा. मंडी व्यवस्था फिर से लागू करना हमारे घोषणा का अहम हिस्सा है. इसके साथ ही हम किसानों को एमएसपी गारंटी का भी वादा किया है. उन्होंने कहा कि हमारी सरकार धान पर 300 रुपये और गेहूं पर 400 रुपये प्रति क्विंटल एमएसपी के अलावा बोनस मिलेगा.
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व्यापार मंडल प्रमुखों को जनप्रतिनिधि का दर्जा मिलेगा
पहले चरण के मतदान से दो दिन पहले एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए तेजस्वी यादव ने यह भी कहा कि सभी प्राथमिक कृषि ऋण समितियों (पैक्स) और प्राथमिक विपणन सहकारी समितियों (व्यापार मंडल) के प्रमुखों को “जनप्रतिनिधि” का दर्जा दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि हम पक्का करेंगे कि प्रत्येक किसान को धान के लिए एमएसपी के अलावा बोनस राशि दी जाए.
मंडी व्यवस्था फिर शुरू होगी, नई मंडियां और स्टोरेज बनेंगे
इससे पहले महागठबंधन ने अपने घोषणा पत्र में वादा किया है कि बिहार में फिर से मंडी व्यवस्था बहाल करने का वादा किसानों से किया है. इसके लिए मंडी और बाजार समितियों को पुनर्जीवित किया जाएगा. प्रमंडल, अनुमंडल और प्रखंड स्तर पर नई मंडियां खोली जाएंगी. इसके साथ ही एपीएमसी (APMC) अधिनियम को फिर से लागू किया जाएगा. कृषि उपज के भंडारण की व्यवस्था जिला और अनुमंडल स्तर पर की जाएगी. इसके लिए कोल्ड स्टोरेज और गोदाम बनाए जाएंगे. पंचायत स्तर पर तिलहन, दलहन और मक्का की सरकारी खरीद की जाएगी, जबकि सब्ज़ी, फल और दूध उत्पादकों को विशेष सब्सिडी प्रदान की जाएगी.
बता दें कि बिहार की 243 सदस्यीय विधानसभा के लिए 6 और 11 नवंबर को दो चरणों में मतदान होगा, जिसके नतीजे 14 नवंबर को घोषित किए जाएंगे.