1 नवंबर से शुरू हुई पूर्वी यूपी में धान खरीद, किसानों को मिलेगा 48 घंटे में भुगतान

विभाग ने कहा है कि खरीदी के दौरान किसानों की किसी भी शिकायत पर त्वरित कार्रवाई की जाएगी. इसके लिए के लिए टोल फ्री नंबर 1800-1800-150 जारी किया गया है. साथ ही जिलों में निगरानी समितियां बनाई गई हैं जो खरीद की पूरी प्रक्रिया पर नजर रखेंगी.

Kisan India
नई दिल्ली | Published: 1 Nov, 2025 | 07:33 AM

Paddy Procurement: नवंबर की शुरुआत के साथ ही पूर्वी उत्तर प्रदेश के किसानों के लिए राहत की बड़ी खबर आई है. राज्य सरकार ने खरीफ विपणन वर्ष 2025-26 के तहत 1 नवंबर यानी आज से धान खरीद की प्रक्रिया शुरू करने की घोषणा की है. यह खरीद प्रदेश के चित्रकूट, कानपुर, अयोध्या, गोरखपुर, देवीपाटन, बस्ती, आजमगढ़, वाराणसी, मीरजापुर और प्रयागराज संभागों में की जाएगी. इसके अलावा लखनऊ, रायबरेली और उन्नाव जिलों में भी आज से खरीद शुरू हो जाएगी, जो 28 फरवरी 2026 तक चलेगी.

सरकार का लक्ष्य

उत्तर प्रदेश सरकार इस बार धान खरीद को पूरी तरह पारदर्शी और डिजिटल बनाने की दिशा में काम कर रही है. सरकार ने किसानों को भरोसा दिलाया है कि धान बेचने के 48 घंटे के भीतर भुगतान उनके बैंक खाते में पहुंच जाएगा. इसके लिए खाद्य एवं रसद विभाग ने खास व्यवस्था की है ताकि किसी किसान को भुगतान के लिए परेशान न होना पड़े.

धान की खरीद केवल पंजीकृत किसानों से ही की जाएगी. इसके लिए किसानों को fcs.up.gov.in वेबसाइट या ‘UP Kisan Mitraमोबाइल ऐप पर अपना पंजीकरण कराना अनिवार्य है. विभाग ने सभी किसानों से अपील की है कि वे खरीद केंद्रों पर आने से पहले यह प्रक्रिया पूरी कर लें.

एमएसपी में बढ़ोतरी, किसानों को मिलेगा अधिक दाम

इस वर्ष सरकार ने धान का न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) बढ़ा दिया है. अब कॉमन धान का एमएसपी 2369 रुपये प्रति क्विंटल और ग्रेड ‘A’ धान का एमएसपी 2389 रुपये प्रति क्विंटल तय किया गया है.

यह फैसला किसानों के लिए बड़ी राहत लेकर आया है, क्योंकि पिछले साल की तुलना में उन्हें प्रति क्विंटल अधिक दाम मिलेंगे. सरकार का कहना है कि यह बढ़ोतरी किसानों की आय में सीधा इजाफा करेगी और कृषि क्षेत्र को मजबूती देगी.

प्रदेशभर में बने 3920 क्रय केंद्र

किसानों की सुविधा के लिए उत्तर प्रदेश में 3920 धान खरीद केंद्र स्थापित किए गए हैं. इन केंद्रों पर खरीद प्रक्रिया पूरी तरह डिजिटल होगी ताकि बिचौलियों और गड़बड़ी की संभावना खत्म हो सके. हर केंद्र पर तौल, भंडारण और भुगतान की व्यवस्था की गई है. साथ ही जिला और तहसील स्तर पर अधिकारियों को यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं कि किसी किसान को लाइन में लगकर घंटों इंतजार न करना पड़े.

खाद्य एवं रसद विभाग के अनुसार, अब तक 2.17 लाख से अधिक किसानों ने पंजीकरण करा लिया है. वहीं पश्चिमी उत्तर प्रदेश में 17 हजार किसानों से 1.06 लाख मीट्रिक टन धान की खरीद पहले ही की जा चुकी है.

किसानों के लिए हेल्पलाइन और सहायता व्यवस्था

किसानों की किसी भी समस्या के समाधान के लिए टोल फ्री नंबर 1800-1800-150 जारी किया गया है. इसके अलावा किसान अपने जिले के जिला खाद्य विपणन अधिकारी, क्षेत्रीय विपणन अधिकारी या ब्लॉक के विपणन निरीक्षक से भी सीधे संपर्क कर सकते हैं.

विभाग ने कहा है कि खरीदी के दौरान किसानों की किसी भी शिकायत पर त्वरित कार्रवाई की जाएगी. साथ ही जिलों में निगरानी समितियां बनाई गई हैं जो खरीद की पूरी प्रक्रिया पर नजर रखेंगी.

किसानों में उत्साह, उम्मीदें भी बढ़ीं

धान खरीद की शुरुआत से पहले ही किसानों में उत्साह का माहौल है. अयोध्या, बस्ती और गोरखपुर क्षेत्रों के कई किसानों ने कहा कि सरकार द्वारा तय किया गया एमएसपी उनकी मेहनत का सही मूल्य दिलाने वाला कदम है. साथ ही 48 घंटे में भुगतान की गारंटी ने किसानों का भरोसा भी बढ़ाया है.

कई किसानों का मानना है कि अगर इस बार खरीद प्रक्रिया सुचारू रूप से चलती रही और भुगतान समय पर हुआ, तो यह खेती के प्रति विश्वास को और मजबूत करेगा.

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