अमरूद की कीटों से करें सुरक्षा, बचाव के लिए किसान अपनाएं ये तरीका

सेमीलूपर इल्ली एक ऐसा कीट है जो अमरूद के पौधे पर आक्रमण कर पत्तियों को खाते हैं. इसके चलते पौधे कमजोर हो जाते हैं और पौधों के विकास में भी कमी आती है. सेमीलूपर इल्ली से अमरूद की फसल को बचाने के लिए नीम के तेल का छिड़काव करें.

नई दिल्ली | Updated On: 24 Jun, 2025 | 02:33 PM

अमरूद एक ऐसा फल है जिसकी खेती के लिए बारिश का मौसम सबसे सही माना जाता है. इसकी खेती से किसानों को अच्छा फायदा होता है लेकिन कई बार फसल की सही देखभाल न होने के कारण या फिर कभी-कभी किसानों की लापरवाही के कारण इसके पौधों में कीटों का आक्रमण हो जाता है. ये कीट पौधों पर आक्रमण कर न केवल पौधों को नुकसान पहुंचाते हैं बल्कि अमरूद की खेती करने वाले किसानों को भी कीटों के कारण भारी नुकसान उठाना पड़ता है.

सेमीलूपर इल्ली (Semilooper Caterpillar)

सेमीलूपर इल्ली एक ऐसा कीट है जो अमरूद के पौधे पर आक्रमण कर पत्तियों को खाते हैं. इसके कारण पौधे कमजोर हो जाते हैं और पौधों के विकास में भी कमी आती है. सेमीलूपर इल्ली से अमरूद की फसल को बचाने के लिए नीम के तेल का छिड़काव करें. किसान चाहें तो पौधों पर बैक्टीरिया आधारित कीटनाशक का भी इस्तेमाल कर सकते हैं. इससे किसानों को इस कीट से छुटकारा पाने में मदद मिलेगी.

स्केल कीट (Scale Insects)

स्केल कीट पौधों की शाखाओं और पत्तियों पर आक्रमण करता है. स्केल कीट की शाखाओं और पत्तियों का रस चूसते हैं. इस कारण से पौधों का विकास रुक जाता है और उत्पादन में भी कमी आती है. स्केल कीट से अमरूद की फसल का बचाव करने के लिए सबसे पहले पौधे से प्रभावित टहनियों को काटकर अलग कर दें. इसके बाद किसान 2 मिली लीटर डाइमेथोएट 30 EC को प्रति लीटर पानी में मिलकार इसका छिड़काव करें.

मिली बग (Mealy Bug)

मिली बग ऐसा कीट है जो कि देखने में सफेद कॉटन जैसा होता है. ये कीट पौधों पर आक्रमण कर उनका रस चूसते हैं , जिसके कारण पत्तियां पीली पड़ने लगती हैं और मुरझाकर गिर जाती हैं. इस कीट के आक्रमण से पौधे की ग्रोथ रुक जाती है. अगर आक्रमण बहुत ही ज्यादा है तो पौधा मर भी सकता है. अमरूद की फसल को इस कीट से बचाने के लिए सबसे पहले प्रभावित हिस्सों के हटाकर अलग कर दें. आप चाहें तो हर 4 लीटर पानी में 2 से 4 चम्मच नींबू का तेल मिला कर, इसका छिड़काव करें या फिर कीटनाशकों का छिड़काव करें. किसान कीटनाशकों का इस्तेमाल करते समय निर्देशों का पालन जरूर करें.

Published: 24 Jun, 2025 | 02:29 PM