यूपी से लेकर उत्तरखंड तक बर्ड फ्लू से दहशत, इन इलाकों में बढ़ाई गई निगरानी
संक्रमण को ट्रैक करने और रोकथाम के लिए प्रदेश के कई शहरों में कंट्रोल रूम बनाए जा रहे हैं. इन कंट्रोल रूम की मदद से असामान्य लक्षण या मौत की सूचना देने पर तुरंत कार्रवाई की जा सकेगी.
वाराणसी के बाद अब उत्तराखंड के चंपावत जिले में बर्ड फ्लू को लेकर प्रशासन एक्शन मोड में आ गया है. पशु चिकित्सा विभाग की टीम पूर सतर्कता बरतते हुए मीट की दुकानों की जांच कर रही है. किसानों को मुर्गियों या पक्षियों में किसी भी तरह के संक्रमण के लक्षण दिखने पर तुरंत पशु चिकित्सालय को जानकारी देने की सलाह दी गई है. बता दें कि चंपावत से पहले उत्तर प्रदेश के वाराणसी में रामपुर इलाके में एक पोल्ट्री फार्म में बर्ड फ्लू की पुष्टि होते ही जिला प्रशासन और पशुपालन विभाग ने एक्शन मोड में आकर तुरंत कार्रवाई की थी.
टनकपुर में मीट की दुकानों का निरीक्षण
चंपावत जिले के टनकपुर इलाके में वरिष्ठ पशु चिकित्सा अधिकारी डॉ. विजयपाल प्रजापति के नेतृत्व में पशु चिकित्सा विभाग ने मीट की दुकानों का निरीक्षण किया. निरीक्षण के दौरान टीम ने दुकानों की साफ-सुथराई का जायजा लिया और दुकानदारों को बर्ड फ्लू से बचाव के लिए जरूरी दिशा-निर्देश भी दिए. इसके अलावा दुकानदारों को बर्ड फ्लू के लक्षणों के बारे में भी जानकारी दी जा रही है ताकि वे समय रहते संक्रमित मुर्गों की पहचान कर सकें और अन्य मुर्गों को संक्रमण से बचा सकें.
साफ-सफाई रखने के निर्देश
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, चंपवत जिले की पशु चिकित्सा विभाग की टीम ने मीट की बिक्री करने वाले दुकानदारों को सख्त दिशा-निर्देश दिए कि वे दुकानों में सफाई-सुथराई बना कर रखें. गंदगी के कारण भी मुर्गों में बर्ड फ्लू का संक्रमण हो सकता है. टीम ने दुकानदारों को ये भी सलाह दी है कि अगर पोल्ट्री फार्म में किसी मुर्गी या पक्षी में असामान्य लक्षण दिखने की स्थिति में तुरंत पशु चिकित्सालय को जानकारी दें. इसके साथ ही संबंधित विभागों ने दुकानदारों और नागरिकों से अपील की है कि प्रशासन को पूरा सहयोग दें, ताकि किसी भी आपात स्थिति में किसी भी समस्या का सामना कर सकें.
वाराणसी में बनाए गए कंट्रोल रूम
उत्तर प्रदेश के वाराणसी में रामपुर इलाके में एक पोल्ट्री फार्म में बर्ड फ्लू की पुष्टि होते ही जिला प्रशासन और पशुपालन विभाग ने तुरंत कार्रवाई की. बता दें कि, संक्रमण को ट्रैक करने और रोकथाम के लिए प्रदेश के कई शहरों में कंट्रोल रूम बनाए जा रहे हैं. इन कंट्रोल रूम की मदद से असामान्य लक्षण या मौत की सूचना देने पर तुरंत कार्रवाई की जा सकेगी. इसके अलावा, पशुपालक मोबाइल नंबर के माध्यम सें संबंधित अधिकारियों को सूचित कर सकेंगे. साथ ही दुकानदारों को ये सलाह दी गई है कि फार्म की नियमित सफाई, कीटाणुनाशक दवाओं का छिड़काव, मास्क और दस्तानों का इस्तेमाल और बाहरी व्यक्तियों के आने -जाने पर रोक लगाएं.