गलत तरीके से खाया शहद बन सकता है धीमा जहर, जानें इसे खाने का सही तरीका

आयुर्वेद के अनुसार शहद का गलत समय पर या गलत चीजों के साथ सेवन करना शरीर में “अम” यानी टॉक्सिन्स बढ़ाता है. यही टॉक्सिन आगे चलकर कई बीमारियों की जड़ बन जाता है. आयुर्वेद में इसके गलत सेवन को धीमा जहर तक कहा गया है.

नई दिल्ली | Published: 27 Nov, 2025 | 03:19 PM

सर्दियों में शहद सबसे ज्यादा उपयोग किया जाने वाला प्राकृतिक खाद्य है. गले की खराश, सर्दी-जुकाम, त्वचा की चमक, पाचन और एनर्जी, हर जगह शहद काम आता है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि यही शहद अगर गलत तरीके से खाया जाए तो फायदे की जगह नुकसान पहुंचा सकता है? आयुर्वेद में इसके गलत सेवन को धीमा जहर तक कहा गया है. इसलिए शहद कितना, कब और किसके साथ खाना है यह जानना बेहद जरूरी है. तो चलिए जानते हैं शहद कब फायदेमंद है और कब नुकसानदायक.

शहद को “कंप्लीट फूड” क्यों कहा जाता है?

शहद को दुनिया के केवल दो कंप्लीट फूड्स में माना जाता है यानी एक ऐसा भोजन जो लगभग सभी जरूरी पोषक तत्वों से भरपूर होता है. इसमें मौजूद प्राकृतिक शर्करा, विटामिन, खनिज और एंटीऑक्सीडेंट शरीर की ऊर्जा, इम्यूनिटी और पाचन को बेहतर बनाते हैं. लेकिन यही शहद कुछ स्थितियों में शरीर के लिए भारी पड़ सकता है.

शहद कब बन सकता है नुकसानदायक?

आयुर्वेद के अनुसार शहद का गलत समय पर या गलत चीजों के साथ सेवन करना शरीर में “अम” यानी टॉक्सिन्स बढ़ाता है. यही टॉक्सिन आगे चलकर कई बीमारियों की जड़ बन जाता है.

आयुर्वेद में इसे धीमा जहर कहा गया है.

आयुर्वेदाचार्य चरक के अनुसार- गर्म किया हुआ शहद शरीर के लिए पचने में असमर्थ और नुकसानदायक होता है.

किन चीजों के साथ शहद कभी नहीं खाना चाहिए?

शहद के फायदे तभी मिलते हैं जब इसे सही तरीके से खाया जाए. इन चीजों के साथ इसे बिलकुल ना मिलाएं-

घी और शहद साथ में- आयुर्वेद में इसे विष समान बताया गया है. दोनों सुपरफूड हैं, लेकिन मिलकर जहरीले असर देते हैं.

शराब या किसी भी प्रकार के फर्मेंटेड पेय- ऐसी चीजों के साथ शहद लेना शरीर में रासायनिक प्रतिक्रियाएं बढ़ाता है.

सरसों या सरसों के तेल के साथ- सरसों और शहद की प्रकृति एक-दूसरे के विरोधी होती है. साग या सरसों के तेल में बने भोजन के साथ इसे बिल्कुल न लें.

तेज धूप या भारी गर्मी में काम के तुरंत बाद- शरीर ज्यादा गर्म होने पर शहद लेना उल्टा असर देता है.

शहद को गर्म करने से क्या होता है?

शहद को जब भी गर्म किया जाता है, उसकी प्राकृतिक एंज़ाइम्स और पोषक तत्व नष्ट हो जाते हैं. जो शहद शरीर के लिए ताकत और पोषण का स्रोत होता है, वही गर्म होने पर “अमा” यानी अपचनीय विषैले तत्व बनाता है. यह अमा धीरे-धीरे शरीर में जमा होकर पाचन को बिगाड़ता है, गैस और एसिडिटी बढ़ाता है, त्वचा संबंधी समस्याओं को जन्म देता है और कई बार वजन बढ़ने या शरीर में ब्लॉकेज बनने का कारण भी बन सकता है. इसी वजह से आयुर्वेद में हजारों वर्षों से शहद को गर्म करने की सख्त मनाही बताई गई है.

शहद खाने का सही तरीका क्या है?

शहद के फायदे तब मिलते हैं जब—

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