सड़कों पर रहने वाले कुत्तों को रोज मिलेगा चिकन-राइस, 3 करोड़ की योजना पर मचा बवाल

बेंगलुरु को BBMP ने 8 जोनों में बांटा है. हर जोन में 36 लाख रुपये सालाना बजट तय किया गया है. हर कुत्ते को रोज 367 ग्राम चिकन राइस मिलेगा, जिस पर औसतन 22 रुपये प्रति दिन का खर्च आएगा.

नई दिल्ली | Updated On: 11 Jul, 2025 | 10:17 AM

बेंगलुरु में इन दिनों एक नई योजना चर्चा में है, जो जानवरों से जुड़ी है. नगर निगम BBMP (बृहत बेंगलुरु महानगर पालिका) ने शहर की सड़कों पर घूमने वाले 5,000 आवारा कुत्तों के लिए रोजाना पका हुआ चिकन राइस परोसने की योजना शुरू की है. इस योजना पर हर साल करीब 2.88 करोड़ रुपये खर्च होंगे. इस फैसले को जहां कुछ लोग मानवता का कदम बता रहे हैं, वहीं कई लोगों ने सुरक्षा और सार्वजनिक स्वास्थ्य को लेकर चिंता भी जताई है.

क्यों शुरू की गई ये योजना?

BBMP का कहना है कि यह योजना एक “सामुदायिक भागीदारी अभियान” (Public Participation Campaign) का हिस्सा है. इसका नाम पहले ‘कुक्किर तिहार’ रखा गया था. इसका उद्देश्य है कि नागरिक मिलकर सड़क पर रहने वाले जानवरों की देखभाल करें, उन्हें भूखा न रहने दें और समाज में करुणा की भावना बनी रहे.

कहां-कहां मिलेगा खाना?

बेंगलुरु को BBMP ने 8 जोनों में बांटा है. हर जोन में 36 लाख रुपये सालाना बजट तय किया गया है. हर कुत्ते को रोज 367 ग्राम चिकन राइस मिलेगा, जिस पर औसतन 22 रुपये प्रति दिन का खर्च आएगा.

उठी विरोध की आवाजें

इंडिया टीवी की खबर के उनुसार, कांग्रेस सांसद कार्ती चिदंबरम ने इस योजना पर सवाल उठाया है. उन्होंने सोशल मीडिया (एक्स) पर लिखा “कुत्तों की जगह सड़कों पर नहीं है. इन्हें शेल्टर में ले जाकर खाना, टीकाकरण और नसबंदी की व्यवस्था की जानी चाहिए.”

उनका मानना है कि सड़कों पर कुत्तों को खाना देना खतरनाक हो सकता है, क्योंकि इससे बीमारियां और हमला करने के मामले बढ़ सकते हैं. उन्होंने इसके लिए एक राष्ट्रीय टास्क फोर्स बनाने की भी मांग की है, ताकि सुरक्षित और वैज्ञानिक तरीके से समाधान निकाला जा सके.

भारत में क्यों चिंता का विषय है ये?

भारत में करीब 6.2 करोड़ आवारा कुत्ते हैं. दुनिया में सबसे ज्यादा रेबीज (Rabies) से होने वाली मौतें भारत में ही होती हैं और कुल वैश्विक मामलों में से 36 फीसदी. हालांकि सरकार ने 2023 में “Animal Birth Control (ABC) नियम” लागू किए हैं, लेकिन उनके प्रभावी क्रियान्वयन की कमी है. यही वजह है कि इस समस्या पर अब दोबारा चर्चा तेज हो रही है.

कैसे दी जाएगी चिकन राइस?

BBMP के पशुपालन विभाग ने FSSAI रजिस्टर्ड कैटरिंग कंपनियों को टेंडर जारी किया है. पहले चरण में 4,000 कुत्तों को खाना दिया जाएगा. जो कंपनियां सबसे कम कीमत पर सेवा देंगी, उन्हें चुना जाएगा. कैटरिंग कंपनियों को अपना किचन खुद बनाना होगा, खाना साफ-सुथरा और पोषणयुक्त होना चाहिए, और तय बिंदुओं पर डिलीवर भी करना होगा.

Published: 11 Jul, 2025 | 10:06 AM