अब मक्खियां नहीं सताएंगी गाय-भैंसों को, आ गया देसी और असरदार जुगाड़

जब मौसम में उमस बढ़ती है या बारिश शुरू होती है, तो पशुशालाओं में मक्खियों का झुंड जानवरों के लिए असहनीय हो जाता है. गाय- भैंसें बेचैन हो जाती हैं, न ठीक से खा पाती हैं, न आराम कर पाती हैं, और इसका सीधा असर उनके दूध देने की क्षमता पर पड़ता है.

नई दिल्ली | Published: 24 May, 2025 | 02:39 PM

गर्मी की शुरुआत होते ही सिर्फ इंसान ही नहीं, पशु भी परेशान होने लगते हैं और सबसे बड़ी दिक्कत होती है-मक्खियों की बढ़ती तादाद. खासकर जब मौसम में उमस बढ़ती है या बारिश शुरू होती है, तो पशुशालाओं में मक्खियों का झुंड जानवरों के लिए असहनीय हो जाता है.

गायें और भैंसें बेचैन हो जाती हैं, न ठीक से खा पाती हैं, न आराम कर पाती हैं, और इसका सीधा असर उनके दूध देने की क्षमता पर पड़ता है. ऐसे में बाजार में मौजूद दवाइयों और स्प्रे के बजाय अब एक नया और सुरक्षित घरेलू उपाय चर्चा में है चिपकने वाला टेप. यह छोटा सा उपाय न सिर्फ सस्ता है, बल्कि बिना किसी केमिकल के, बड़ी राहत भी देता है.

गर्मी-बरसात में क्यों बढ़ती हैं मक्खियां?

गर्मी और नमी वाले मौसम में गंदगी और जानवरों के पसीने की वजह से मक्खियों को पनपने का सबसे अनुकूल माहौल मिल जाता है. ये मक्खियां दिनभर पशुओं की आंखों, मुंह और नाक के आस-पास मंडराती रहती हैं. कई बार तो ये इतना परेशान करती हैं कि जानवर चारा तक नहीं खाते.

इससे उनका स्वास्थ्य बिगड़ता है, और दूध उत्पादन भी घट जाता है. इतना ही नहीं, मक्खियों के कारण त्वचा संक्रमण, आंखों की सूजन और कई रोग भी फैल सकते हैं. ऐसे में अगर समय रहते समाधान न किया जाए, तो ये छोटी सी परेशानी बड़ी समस्या बन जाती है.

अब नहीं चाहिए दवा या स्प्रे

अभी तक मक्खियों से बचाव के लिए केमिकल वाले स्प्रे या दवाएं इस्तेमाल की जाती थीं. पर इनसे जहां एक तरफ मक्खियां कुछ देर के लिए हटती थीं, वहीं दूसरी ओर जानवरों की त्वचा पर इनका बुरा असर पड़ता था.

लेकिन अब जो उपाय सामने आया है, वह एकदम अलग और सुरक्षित है. यह एक चिपकने वाला टेप है जिसे गाय या भैंस के माथे, सींग या पीठ पर लगाया जा सकता है. यह टेप मक्खियों को अपनी तरफ खींचता है और जैसे ही वे इसके पास आती हैं, उस पर चिपक जाती हैं. फिर न वो उड़ पाती हैं, न ही जानवरों को परेशान करती हैं.

कैसे करता है यह टेप काम?

इस टेप में एक विशेष तरह का चिपचिपा पदार्थ लगा होता है, जो इंसानों और जानवरों के लिए हानिकारक नहीं होता, लेकिन मक्खियों को तुरंत अपनी तरफ आकर्षित करता है. जैसे ही मक्खी टेप के पास आती है, वह उसमें चिपक जाती है. धीरे-धीरे पशु के आसपास मंडराने वाली मक्खियों की संख्या कम होने लगती है और पशु खुद को शांत और सुरक्षित महसूस करता है.

सबसे अच्छी बात यह है कि यह टेप पूरी तरह से केमिकल-फ्री है. इसका इस्तेमाल करते समय आपको किसी भी दवा या स्प्रे की जरूरत नहीं पड़ती. न पशु की त्वचा पर कोई असर होता है, न दूध की गुणवत्ता पर.

टेप के असर से जानवर खुश, किसान संतुष्ट

जो किसान इस टेप का इस्तेमाल कर चुके हैं, उनका अनुभव बहुत सकारात्मक रहा है. उनका कहना है कि मक्खियां खुद ही टेप पर चिपक जाती हैं, जिससे उन्हें दिनभर झाड़ू या कपड़े से भगाने की जरूरत नहीं पड़ती.

जानवर भी शांत रहते हैं, आराम से खाते हैं और चारा नहीं छोड़ते. इसका असर दूध उत्पादन पर भी साफ नजर आता है-न केवल मात्रा बढ़ती है, बल्कि दूध की गुणवत्ता भी बनी रहती है.