मसालों की खेती: अब गमले में उगाएं लौंग, घर की बालकनी से मिलेगी सेहत और स्वाद
लौंग स्वाद के साथ सेहत के लिए भी बेहद फायदेमंद मसाला है. बढ़ती कीमतों के बीच अब लोग इसे घर पर उगाने की ओर बढ़ रहे हैं. अच्छी बात यह है कि लौंग को गमले में भी आसानी से लगाया जा सकता है. सही मिट्टी, हल्की धूप और धैर्य के साथ घर पर ताजी लौंग पाई जा सकती है.
Home Gardening : रसोई में इस्तेमाल होने वाली लौंग सिर्फ स्वाद बढ़ाने वाला मसाला नहीं है, बल्कि यह सेहत के लिए भी बेहद फायदेमंद मानी जाती है. सर्दी-खांसी, दांत दर्द, पाचन और संक्रमण जैसी कई समस्याओं में लौंग का घरेलू इलाज के रूप में इस्तेमाल किया जाता है. बाजार में इसकी कीमत लगातार बढ़ रही है, ऐसे में अब लोग इसे घर पर उगाने की ओर ध्यान देने लगे हैं. अच्छी बात यह है कि लौंग को बड़े खेत की नहीं, बल्कि गमले में भी आसानी से उगाया जा सकता है.
घर में लौंग उगाना अब आसान
लौंग का पौधा घर की छत, बालकनी या आंगन में आसानी से उगाया जा सकता है. इसके लिए किसी खास संसाधन की जरूरत नहीं होती. थोड़ी जानकारी और धैर्य के साथ आम लोग भी अपने घर में लौंग का पौधा तैयार कर सकते हैं. यह पौधा गर्म और नम वातावरण में अच्छी तरह बढ़ता है, इसलिए भारतीय मौसम इसके लिए काफी अनुकूल माना जाता है.
लौंग लगाने के दो आसान तरीके
लौंग उगाने के लिए दो आसान तरीके बताए जाते हैं. पहला तरीका है बीज से पौधा तैयार करना. इसके लिए लौंग के बीज को कुछ घंटों तक पानी में भिगोकर गमले में बोया जाता है. दूसरा तरीका है बाजार से ताजी लौंग की डंठल लेकर उसे मिट्टी में रोपना. ध्यान रखें कि डंठल ताजी और स्वस्थ हो, तभी अंकुरण की संभावना ज्यादा रहती है. बीज या डंठल को बहुत गहराई में न लगाएं, हल्का दबाकर ऊपर से मिट्टी डाल दें.
मिट्टी, पानी और धूप का रखें ध्यान
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, लौंग के पौधे के लिए अच्छी जल निकासी वाली मिट्टी सबसे जरूरी होती है. इसके लिए दो भाग सामान्य मिट्टी, एक भाग रेत और एक भाग कम्पोस्ट को मिलाकर गमले में भरें. इससे जड़ों को मजबूती मिलती है और पानी जमा नहीं होता.
रोपाई के बाद मिट्टी को हल्का नम रखें, लेकिन ज्यादा पानी देने से बचें. अधिक पानी से जड़ें सड़ सकती हैं. पौधे को ऐसी जगह रखें जहां उजली लेकिन हल्की धूप आती हो. तेज धूप में रखने से पत्तियां झुलस सकती हैं.
धैर्य रखें, कुछ साल में मिलेगी लौंग
लौंग का पौधा धीरे-धीरे बढ़ता है. कुछ महीनों में इसमें नई पत्तियां और टहनियां आने लगती हैं. आमतौर पर 3 से 4 साल में इसमें फूल आते हैं और लौंग बनने लगती है. एक बार पौधा तैयार हो जाए, तो लंबे समय तक लौंग देता रहता है. इससे घर पर ही ताजी लौंग मिल सकती है और बाजार से महंगे दाम पर खरीदने की जरूरत नहीं पड़ेगी.