किसान नहीं कर पा रहे गेहूं की बुवाई, अभी भी सैकड़ों एकड़ जमीन पर पड़ा है बाढ़ का मलवा

चंबा कलां गांव के मंड क्षेत्र में 1,500 एकड़ जमीन खराब हुई थी. लेकिन अभी तक केवल 500 एकड़ में ही गेहूं बोया  जा सका है. इसी तरह मुंडापिंड गांव में भी 1,200 एकड़ में गेहूं की बुवाई नहीं हो सकी, क्योंकि जमीन अभी भी खराब हालत में है.

Kisan India
नोएडा | Published: 26 Nov, 2025 | 10:30 PM

Punjab Agriculture News: पंजाब के तरणतारन जिले के कई गांवों के मंड इलाकों में बाढ़ से खराब हुई हजारों एकड़ जमीन अब तक खेती योग्य नहीं बन पाई है. बाढ़ के दौरान खेतों में नदी का पानी भर गया था, जिससे किसानों की धान की फसल तबाह हो गई थी. ऐसे में इन इलाकों के किसान अब गेहूं की बुवाई भी नहीं कर पा रहे हैं. इससे किसानों को डबल नुकसान झेलना पड़ रहा है. ऐसे में किसानों ने सरकार से आर्थिक मदद की गुहार लगाई है. हालांकि, कई किसानों ने खेतों की सफाई शुरू कर दी है.

द ट्रिब्यून की रिपोर्ट के मुताबिक, संतोष की बात यह है कि कई सामाजिक और धार्मिक संगठनों ने रेत और सिल्ट से भरी जमीन साफ करने में किसानों की मदद शुरू की है, जो बहुत मेहनत वाला काम है. चंबा कलां गांव के मंड क्षेत्र में 1,500 एकड़ जमीन खराब हुई थी. लेकिन अभी तक केवल 500 एकड़ में ही गेहूं बोया  जा सका है. ऐसे में किसान नेता मास्टर दलबीर सिंह, सरपंच बलकार सिंह, परगट सिंह चंबा, अजीतपाल सिंह आदि ने कहा कि करीब 300 किसान, जिनकी 1,000 एकड़ जमीन बुरी तरह प्रभावित है, गंभीर आर्थिक संकट में हैं. उन्हें न तो कोई मुआवजा मिला है और न ही कोई सरकारी अधिकारी या विधायक उनकी जमीन दोबारा खेती योग्य बनाने में मदद करने आया है.

1,200 एकड़ में गेहूं की बुवाई नहीं हो सकी

इसी तरह मुंडापिंड गांव में भी 1,200 एकड़ में गेहूं की बुवाई नहीं हो सकी, क्योंकि जमीन अभी भी खराब हालत में है. कर सेवा संप्रदा सरहाली साहिब के बाबा सुखा सिंह और बाबा हकम सिंह के अनुयायी पिछले तीन हफ्तों से धुन, कर्मूवाला, घरका और आसपास के मंढ क्षेत्र के गांवों में किसानों की खराब हुई जमीन  को ठीक कराने के लिए ट्रैक्टर-ट्रोलियां लगाकर मदद कर रहे हैं. पट्टी तहसील के भोजोके गांव में वे 17 किसानों की कुल 60 एकड़ जमीन बहाल कर रहे हैं.

प्रभावित कई किसानों को अब तक मुआवजा नहीं मिला

बाढ़ से प्रभावित कई किसानों को अब तक मुआवजा  नहीं मिला है. प्रशासन के पास भी यह स्पष्ट आंकड़ा नहीं है कि कितनी जमीन बाढ़ से खराब हुई. कीर्ति किसान यूनियन के जिला अध्यक्ष नछत्तर सिंह ने कहा कि राज्य सरकार प्रभावित किसानों को उचित मुआवजा देने में पूरी तरह नाकाम रही है. इस मामले में डिप्टी कमिश्नर राहुल से संपर्क करने की कोशिश की गई, लेकिन उन्होंने न फोन उठाया और न ही व्हाट्सऐप संदेशों का जवाब दिया.

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Published: 26 Nov, 2025 | 10:30 PM

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