तेलंगाना में 155 फीसदी बढ़ी रबी धान की खरीद, 12 मई तक रिकॉर्ड तोड़ 43.10 लाख टन खरीदा गया अनाज

तेलंगाना में रबी धान खरीद ने रिकॉर्ड बनाया है. अब तक 43.10 लाख टन धान खरीदा गया है, जो 2022-23 से 155.8 फीसदी ज्यादा है. 6.58 लाख किसानों ने 9,990 करोड़ रुपये का धान बेचा है.

नोएडा | Updated On: 13 May, 2025 | 03:17 PM

तेलंगाना में धान खरीद का रिकॉर्ड टूट गया है. इस बार राज्य में पिछले साल से ज्यादा धान की खरीदी की गई है. इससे किसान के साथ-साथ सरकार भी उत्साहित है. अगर आंकड़ों पर नजर डालें, तो राज्य में 12 मई तक यानि सोमवार तक कुल रबी धान की खरीद 43.10 लाख मीट्रिक की गई. हालांकि, पिछले साल इस अवधि तक कुल 29.88 लाख मीट्रिक टन ही रबी धान खरीदा गया था. जबकि, रबी सीजन 2022-23 में यह आंकड़ा 16.85 लाख मीट्रिक टन था. यानि दो सीजन के दौरान ही धान खरीद में 155.8 फीसदी की बढ़ोतरी हो गई.

नागरिक आपूर्ति आयुक्त डीएस चौहान ने इस बार 70 लाख टन धान खरीद का लक्ष्य तय किया है. नागरिक आपूर्ति विभाग के अधिकारियों ने किसानों से अपील की है कि कुछ लोगों द्वारा फैलाई जा रही गलत सूचनाओं पर विश्वास न करें, जिसमें दावा किया जा रहा है कि धान खरीद में देरी हो रही है. अधिकारियों ने कहा कि राज्य भर में इस समय 8,245 खरीद केंद्र काम कर रहे हैं. किसान वहां अपने धान को बेच सकते हैं. हर साल धान की खरीद बढ़ रही है. साल 2023-24 के रबी सीजन में 12 मई तक 29.88 लाख टन धान खरीदा गया था, जबकि इस बार अभी तक 43.10 लाख टन रिकॉर्ड मात्रा में खरीदा जा चुका है.

धान पर 500 रुपये क्विंटल बोनस

द टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक, अधिकारियों ने कहा कि इस बार धान खरीद में आई तेजी का एक बड़ा कारण बेहतर किस्म (सन्ना रकम) के धान पर 500 रुपये प्रति क्विंटल का बोनस है. खरीफ (वनालालम) सीजन के दौरान मिले इस बोनस से किसानों को उम्मीद जगी कि इस बार भी एमएसपी के साथ-साथ बोनस मिलेगा. अब तक खरीदे गए कुल धान में से 27.75 लाख मीट्रिक टन मोटे धान (डोड्डु रकम) और 15.35 लाख मीट्रिक टन बारीक धान (सन्ना रकम) शामिल है.

6.58 लाख किसानों ने बेचा धान

सरकारी खरीद केंद्रों पर अब तक 6.58 लाख किसानों ने धान बेचा है, जिनमें 4.33 लाख ने मोटा धान और 2.25 लाख ने बारीक धान बेचने वाले किसान शामिल हैं. कुल खरीद की कीमत 9,990 करोड़ रुपये है, जिसमें से 6,671 करोड़ रुपये किसानों के खातों में जमा हो चुका है और बाकी राशि जमा की जा रही है. वहीं, विपक्षी दलों ने आरोप लगाया है कि खरीद में देरी और बेमौसम बारिश के कारण किसानों को नुकसान हो रहा है.

Published: 13 May, 2025 | 01:34 PM