गांवों से लेकर शहरों की छतों तक, मेथी एक ऐसी हरी सब्जी है जो अपने स्वाद और औषधीय गुणों के लिए हर घर में जगह बना चुकी है. लेकिन जैसे ही इसके हरे पत्ते लहराने लगते हैं, कुछ कीड़े इन पर हमला बोल देते हैं. खासकर गर्मियों और बारिश के समय, मेथी के पौधों में एफिड्स (तेलिया), माइट्स और इल्ली जैसे कीट बड़ी तेजी से फैल सकते हैं. अगर समय रहते ध्यान न दिया जाए, तो ये कीट पूरी फसल को बर्बाद कर सकते हैं. चलिए जानते हैं कुछ आसान और प्राकृतिक तरीके, जिनसे आप अपने मेथी के पौधों को कीड़ों से बचा सकते हैं, वो भी बिना किसी हानिकारक रासायनिक दवाओं के.
रोजाना निगरानी है सबसे जरूरी
अगर आप चाहते हैं कि आपके मेथी के पौधे स्वस्थ रहें, तो उन्हें रोज एक बार ध्यान से देखिए. पत्तों पर छोटे-छोटे कीड़े दिखना, पत्तियों का पीला या मुड़ा हुआ होना, या उनमें छेद, ये सभी संकेत हैं कि आपके पौधों पर कीटों का हमला शुरू हो चुका है.
नीम का तेल और लहसुन स्प्रे से करें
रासायनिक कीटनाशक से बेहतर होता है नीम का तेल या लहसुन का स्प्रे. इन्हें घर पर आसानी से बनाया जा सकता है. नीम का तेल पानी में मिलाकर हर 5-7 दिन में छिड़काव करें. लहसुन और हरी मिर्च का पेस्ट बनाकर पानी में घोलें और छानकर स्प्रे करें, ये उपाय कीड़ों को दूर रखते हैं.
मित्र कीटों को दें न्योता
आपको जानकर आश्चर्य होगा कि कुछ कीट आपके दुश्मन नहीं, बल्कि दोस्त होते हैं. जैसे लेडी बग, लेसविंग्स और पैरासिटिक वॉस्प ये कीट हानिकारक कीड़ों को खा जाते हैं. बाजार में इन मित्र कीटों के बॉक्स भी मिलते हैं जिन्हें आप अपने बगीचे में छोड़ सकते हैं.
बगीचे की सफाई रखें बरकरार
बीमार पत्तियां, सूखे तने या गिरी हुई पत्तियां कीड़ों के लिए छुपने की जगह बन जाती हैं. समय-समय पर बगीचे की सफाई करें और खरपतवार भी हटाएं. इससे न सिर्फ पौधों की सेहत बेहतर रहती है, बल्कि कीटों को फैलने से भी रोका जा सकता है.
फसल चक्र अपनाएं
अगर हर बार एक ही जगह मेथी लगाते हैं और बार-बार कीट लगते हैं, तो फसल चक्र यानी Crop Rotation अपनाएं. अगले मौसम में वहां धनिया, पालक या कोई दूसरी फसल लगाएं ताकि कीटों का चक्र टूट जाए.