देश के करोड़ों किसानों के लिए राहत की खबर सामने आ रही है. खेती में जरूरी ट्रैक्टर और उपकरणों की कीमतों पर लगने वाला जीएसटी (GST) जल्द ही कम हो सकता है. केंद्र सरकार इस मुद्दे पर गंभीरता से मंथन कर रही है, ताकि किसानों को आर्थिक बोझ से राहत मिल सके. अगर यह फैसला लागू होता है, तो ट्रैक्टर खरीदना न सिर्फ सस्ता होगा, बल्कि खेती के आधुनिक उपकरणों तक किसानों की पहुंच भी और आसान बन जाएगी. यह कदम खेती की लागत घटाने और किसानों की आय बढ़ाने की दिशा में एक अहम पहल माना जा रहा है.
क्या है प्रस्ताव
अभी रोटावेटर, ट्रैक्टर, सुपर-सीडर, सीडर जैसे आधुनिक उपकरणों पर 12 फीसदी GST लागू है. लेकिन सरकार अब इसे घटाकर 5 फीसदी करने की योजना बना रही है. इसका मतलब है कि अगर कोई किसान 5 से 7 लाख रुपये तक का ट्रैक्टर खरीदता है, तो उसे लगभग 35,000 से 49,000 रुपये तक की सीधी बचत हो सकती है. यह राहत खासकर उन छोटे और सीमांत किसानों के लिए बेहद अहम है, जिनकी आमदनी सीमित होती है.
सरकार की योजना का अगला कदम
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने जून 2025 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को इस प्रस्ताव पर एक विस्तृत प्रजेंटेशन दिया है. अब इसे राज्यों के साथ साझा किया जाएगा, ताकि GST काउंसिल में अंतिम फैसला लिया जा सके. संभावना है कि यह फैसला 2025-26 के केंद्रीय बजट का हिस्सा बन सकता है.
ट्रैक्टर कंपनियों और बाजार को भी मिलेगा फायदा
इस बदलाव से सिर्फ किसान ही नहीं, Mahindra & Mahindra, Force Motors जैसी ट्रैक्टर बनाने वाली कंपनियां भी लाभ में रहेंगी. अभी इन कंपनियों को इनपुट टैक्स क्रेडिट (ITC) 18 फीसदी मिलता है, लेकिन जब बिक्री पर टैक्स कम होगा तो ये कंपनियां अधिक प्रतिस्पर्धी कीमतों पर ट्रैक्टर बेच सकेंगी. इससे बाजार में मांग भी बढ़ेगी और उत्पादन भी.
खेती को मिलेगा मशीनीकरण का नया बल
GST में कटौती का सीधा असर खेती की प्रक्रिया पर पड़ेगा. मशीनें सस्ती होंगी, तो ज्यादा किसान उनका उपयोग करेंगे. इससे एक ओर मेहनत और समय की बचत होगी, वहीं दूसरी ओर पैदावार भी बढ़ेगी. आधुनिक खेती को बढ़ावा मिलेगा और कृषि को फिर से एक लाभकारी व्यवसाय की तरह देखा जा सकेगा.
राज्य भी कर चुके हैं मांग
हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी पहले ही 10 प्रमुख कृषि उपकरणों पर GST को पूरी तरह हटाने की मांग कर चुके हैं. इससे साफ है कि राज्य सरकारें भी किसानों को राहत देने के पक्ष में हैं.
पहले भी हुए हैं बदलाव, अब बारी बड़ी राहत की
याद दिला दें कि 2017 में ट्रैक्टर के पार्ट्स पर GST को 28 फीसदी से घटाकर 18 फीसदी किया गया था. अब 12 फीसदी से घटाकर 5 फीसदी करने का प्रस्ताव, किसानों के लिए आर्थिक तौर पर एक बड़ा सहारा बन सकता है. यह न सिर्फ सरकार की मंशा को दिखाता है, बल्कि इस बात का भी संकेत है कि अब खेती को सशक्त और टिकाऊ बनाने की दिशा में ठोस कदम उठाए जा रहे हैं.