जब मुश्किलें सामने आती हैं, तो कुछ लोग उन्हें मौका बनाकर अपने और दूसरों के लिए प्रेरणा बन जाते हैं. ऐसी ही कहानी है एटा जिले की हिना नाज की. बचपन में पोलियो से जूझते हुए भी उन्होंने कभी हार नहीं मानी. आज वे योगी सरकार के मिशन शक्ति अभियान के तहत 26 हजार से ज्यादा गरीब और निराश्रित महिलाओं को पेंशन दिलाकर उनकी जिंदगी में बदलाव ला रही हैं. हिना की मेहनत और लगन दिखाती है कि शरीर में कमजोरी हो, तो क्या हुआ, जब दिल और आत्मा मजबूत हों तो कोई भी बाधा रास्ते में नहीं टिक सकती.
पोलियो से जंग और जीत
हिना नाज का बचपन आसान नहीं था. पोलियो की वजह से उनका एक पैर कमजोर हो गया था. लेकिन उन्होंने कभी अपने हौसले को कमजोर नहीं पड़ने दिया. पूरे जज्बे के साथ उन्होंने जिंदगी की लड़ाई लड़ी और आज खुद एक मिसाल बन गई हैं. उन्होंने साबित कर दिया कि शारीरिक कमजोरी इंसान की ताकत को कम नहीं कर सकती. हिना आज भी खुद को पूरी ताकत के साथ काम में लगाती हैं और महिलाओं की मदद करने का संकल्प लेती हैं.
मिशन शक्ति से मिली नई पहचान
योगी सरकार की मिशन शक्ति योजना का मकसद महिलाओं को सम्मान, सुरक्षा और आत्मनिर्भर बनाना है. हिना नाज इस योजना की सजीव मिसाल हैं. कासगंज जिला प्रोबेशन कार्यालय में वे सामाजिक कार्यकर्ता के रूप में काम करती हैं. हर रोज सुबह वो 150 किलोमीटर का सफर तय करती हैं, चाहे तेज धूप हो या सर्दी. उनका एक ही मकसद है कि हर पात्र महिला तक पेंशन और सरकारी योजनाओं का लाभ पहुंचे. हिना ने इस मिशन को अपने दिल से अपनाया है और लगातार मेहनत कर रही हैं.
26 हजार से ज्यादा महिलाओं को पेंशन दिलाई
शुरुआत में जिले में केवल 8,000 महिलाएं ही निराश्रित महिला पेंशन योजना का लाभ ले रही थीं. लेकिन हिना की मेहनत और लगन से यह संख्या बढ़कर अब 26,928 हो गई है. वे खुद दस्तावेजों की जांच करती हैं, कंप्यूटर पर फॉर्म भरती हैं और सुनिश्चित करती हैं कि किसी भी पात्र महिला को पेंशन में देरी न हो. उनका ईमानदारी और सेवा-भावना का काम उन महिलाओं के लिए उम्मीद बन चुका है जो मदद की तलाश में थीं.
बच्चों के लिए स्पॉन्सरशिप योजना भी सफल
हिना नाज केवल महिलाओं की मदद तक ही सीमित नहीं हैं. वे योगी सरकार की स्पॉन्सरशिप योजना के तहत बच्चों को भी मुख्यधारा से जोड़ने का काम कर रही हैं. यह योजना बच्चों को बेहतर शिक्षा और विकास के अवसर प्रदान करती है. हिना की यह पहल भी उनके समर्पण का उदाहरण है. वे जानती हैं कि महिला सशक्तिकरण के साथ-साथ बच्चों का विकास भी जरूरी है ताकि एक मजबूत समाज का निर्माण हो सके.
मनोबल और आत्मविश्वास ही असली ताकत
हिना मानती हैं कि असली ताकत शरीर की मजबूती में नहीं बल्कि मनोबल और आत्मविश्वास की दृढ़ता में होती है. उनका कहना है, खुश रहने के लिए किसी सहारे की जरूरत नहीं होती, बस खुद पर भरोसा होना चाहिए. उनका जीवन यह साबित करता है कि अगर हौसला हो तो कोई भी चुनौती बड़ी नहीं होती. वे अपनी कहानी से हर महिला को यही संदेश देती हैं कि कमजोरियां इंसान को कमजोर नहीं बनातीं, बल्कि उससे लड़ने का जज्बा मजबूत बनाती हैं.
हिना नाज– महिला सशक्तिकरण की जीती
हिना नाज केवल कासगंज या एटा की ही नहीं, बल्कि पूरे प्रदेश की महिलाओं के लिए प्रेरणा हैं. उन्होंने यह दिखा दिया कि महिला सशक्तिकरण केवल सरकारी योजनाओं तक सीमित नहीं है, बल्कि यह महिलाओं की सोच, आत्मविश्वास और निष्ठा से साकार होता है. उनकी मेहनत और सकारात्मक ऊर्जा आज कई महिलाओं के लिए संबल बन रही है. वे खुद भी प्रेरणा का स्रोत हैं और अन्य महिलाओं को भी आगे बढ़ने के लिए प्रेरित करती हैं. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मिशन शक्ति अभियान की सबसे बड़ी सफलता यही है कि इसे हिना जैसी महिलाओं ने जमीन पर उतारा है और समाज में बदलाव की लहर पैदा की है.