खरीफ सीजन में नहीं होगी खाद की किल्लत, 3.95 लाख टन अतिरिक्त उर्वरक की आपूर्ति

1 अप्रैल 2025 तक राज्य के पास 7.14 लाख मीट्रिक टन का शुरुआती स्टॉक था. 1 अप्रैल से 6 जून के बीच 3.95 लाख मीट्रिक टन अतिरिक्त उर्वरक की आपूर्ति की गई, जो इस अवधि की जरूरत (2.07 लाख टन) से काफी ज्यादा है.

नोएडा | Updated On: 7 Jun, 2025 | 11:31 AM

आंध्र प्रदेश के किसानों को अब उर्वरक को लेकर चिंता करने की जरूरत नहीं है. कृषि विभाग ने खरीफ 2025 सीजन के लिए किसानों को समय पर और लगातार उर्वरक मिल सके, इसके लिए गजब की रणनीति तैयार की है. इस रणनीति का उद्देश्य आंध्र प्रदेश के सभी किसानों की जरूरतों को पूरा करना है.

सरकार ने कुल 16.76 लाख मीट्रिक टन उर्वरक आवंटित किए हैं, जिसमें 6.22 लाख टन यूरिया, 2.60 लाख टन डीएपी, 0.70 लाख टन एमओपी, 0.94 लाख टन एसएसपी और 6.30 लाख टन कॉम्प्लेक्स उर्वरक शामिल हैं.

3.95 लाख मीट्रिक टन अतिरिक्त उर्वरक की आपूर्ति

1 अप्रैल 2025 तक राज्य के पास 7.14 लाख मीट्रिक टन का शुरुआती स्टॉक था. 1 अप्रैल से 6 जून के बीच 3.95 लाख मीट्रिक टन अतिरिक्त उर्वरक की आपूर्ति की गई, जो इस अवधि की जरूरत (2.07 लाख टन) से काफी ज्यादा है. 6 जून तक कुल स्टॉक 11.09 लाख मीट्रिक टन तक पहुंच गया है.

2 लाख मीट्रिक टन उर्वरक बेचा गया

इस अवधि के दौरान कुल 2 लाख मीट्रिक टन उर्वरक बेचा गया, जिसमें 0.92 लाख टन यूरिया और 0.62 लाख टन कॉम्प्लेक्स उर्वरक शामिल हैं. अभी भी 9.09 लाख मीट्रिक टन उर्वरक का स्टॉक सहकारी समितियों, रायतु सेवा केंद्रों (RSKs), मार्कफेड गोदामों और रिटेल दुकानों में सुरक्षित है. इसके अलावा 2.01 लाख टन उर्वरक तुरंत वितरण के लिए तैयार रखा गया है.

आंध्र प्रदेश को 2.35 लाख टन उर्वरक आवंटित किया गया

जून 2025 के लिए केंद्र सरकार ने आंध्र प्रदेश को 2.35 लाख टन उर्वरक आवंटित किया है, ताकि किसानों को समय पर और लगातार सप्लाई मिलती रहे. उर्वरक का वितरण RSKs, सहकारी समितियों और निजी डीलरों के माध्यम से किया जा रहा है. राज्य सरकार अब पारंपरिक उर्वरकों के विकल्प के रूप में नैनो यूरिया और नैनो डीएपी के इस्तेमाल को भी बढ़ावा दे रही है, ताकि वितरण प्रक्रिया और अधिक प्रभावी हो सके.

पंजाब में खाद की भारी किल्लत

बता दें कि जहां आंध्र प्रदेश में अतिरिक्त उर्वरक की आपूर्ति की गई है, वहीं  पंजाब में खरीफ सीजन के दौरान धान और मक्का की फसल के लिए खाद की किल्लत है. राज्य को कुल 2 लाख मीट्रिक टन डीएपी की जरूरत होती है, लेकिन अब तक सिर्फ 47,000 मीट्रिक टन ही उपलब्ध कराया गया है. यानी पंजाब में अभी भी लगभग 76.5 फीसदी DAP की कमी है. अप्रैल में 16,000 मीट्रिक टन और मई में 31,000 मीट्रिक टन खाद केंद्र सरकार ने राज्य को भेजा है.

 

Published: 7 Jun, 2025 | 11:26 AM