बैंगन में नहीं आ रहे हैं फूल तो अपनाएं ये देसी उपाय, देखते ही देखते फल से लद जाएगा पौधा
अगर बैंगन के पौधे में फूल नहीं आ रहे तो चिंता की बात नहीं है. थोड़ी धूप, पानी का सही संतुलन और कुछ घरेलू उपाय अपनाकर पौधा जल्दी फूल देने लगता है. मिट्टी को पौष्टिक बनाना, कीटों से बचाव करना और पौधे को सहारा देना इससे भी ज्यादा मदद करता है. नियमित देखभाल से पौधा फलों से लद जाता है.
Flowering Tips : गमले या खेत में बैंगन का पौधा खूब हरा-भरा दिख रहा हो, पत्ते चमक रहे हों, मगर फूल ही न दिखें, तो यह हर माली और किसान के लिए सबसे बड़ी टेंशन बन जाती है. ऐसे में लोग सोचते हैं कि शायद पौधा खराब है या मिट्टी कमजोर है. लेकिन सच यह है कि बैंगन का पौधा थोड़ा नाजुक स्वभाव का होता है और सही धूप, सही पानी और थोड़ी घरेलू देखभाल मिल जाए तो कुछ ही दिनों में फूलों और फलों से लद जाता है. बैंगन के पौधे में फूल लाना बिल्कुल आसान है, बस थोड़ी समझ और कुछ देसी उपाय अपनाने होंगे. ऐसे में आइए जानते हैं कुछ घरेलू उपाय के बारे में…
फूलों के लिए जरूरी है भरपूर धूप और सही तापमान
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, बैंगन का पौधा (Brinjal Plant) धूप प्रेमी माना जाता है. अगर पौधा रोज 6-8 घंटे तक सीधी धूप में नहीं बैठता, तो फूल आने में काफी देर हो जाती है. कम धूप में पौधा तो बढ़ता रहता है, लेकिन फूल नहीं बनते. मौसम भी इसमें बड़ी भूमिका निभाता है. ज्यादा ठंड या ज्यादा गर्मी फूलों की संख्या घटा देती है. ऐसे में पौधे के आसपास हल्का पानी छिड़ककर तापमान संतुलित रखा जा सकता है. गर्मी में हल्की छाया और सर्दी में दिन की धूप बैंगन के पौधे को मजबूत बनाती है और फूल आने की प्रक्रिया तेज करती है.
पानी का संतुलन रखिए
बैंगन के पौधे की जड़ें बहुत संवेदनशील होती हैं. अगर ज्यादा पानी दे दिया जाए तो जड़ सड़ने लगती है और अगर मिट्टी सूख जाए तो पौधा तनाव में आ जाता है. दोनों ही हालात में फूल नहीं बनते. इसलिए गमले या खेत की मिट्टी को हाथ से छूकर देखें-अगर मिट्टी हल्की गीली है तो पानी की जरूरत नहीं. सिर्फ आवश्यक मात्रा में पानी दें. जमीन में उगाए पौधों के लिए सप्ताह में 2-3 बार सिंचाई और गमले वाले पौधों के लिए थोड़ी-थोड़ी मात्रा में पानी सबसे सही रहता है. संतुलित पानी से पौधे की जड़ मजबूत होती है और फूल जल्दी बनते हैं.
देसी खाद और घरेलू उपाय करेंगे कमाल
अगर बैंगन के पौधे में बहुत ज्यादा नाइट्रोजन वाली खाद डाल दी जाए, तो पौधा केवल पत्तियां ही बनाता है और फूलों का विकास रुक जाता है. इसलिए घरेलू खाद ही सबसे अच्छा विकल्प है. पुराने पत्ते, कंपोस्ट, गोबर खाद, चाय की पत्ती, सब्जियों का कचरा, केले के छिलके-ये सब मिट्टी को हल्का और पौष्टिक बनाते हैं. इसके अलावा हर 15-20 दिन में दूध मिले पानी को मिट्टी में डालने से पौधा मजबूत होता है और फूल जल्दी आते हैं. बैंगन का पौधा जितना जैविक खाद पाता है, उतना ही जोर से बढ़ता है और फलों से भर जाता है.
कीट नियंत्रण और सहारा देना है सबसे जरूरी
बैंगन के फूलों को कीट जल्दी नुकसान पहुंचाते हैं, इसलिए पौधे को सुरक्षित रखना जरूरी है. घरेलू उपायों में साबुन का पानी, नीम का तेल, हल्दी का घोल और अदरक का हल्का पानी बहुत प्रभावी माने जाते हैं. ये पत्ती खाने वाले कीटों को दूर रखते हैं और पौधे को स्वस्थ बनाए रखते हैं. बैंगन की शाखाएं पतली और लंबी होती हैं, इसलिए उन्हें सहारा देना भी जरूरी है. लकड़ी या बांस की छोटी काठियां लगाकर शाखाओं को बांध दिया जाए तो पौधा गिरता नहीं और फूल आसानी से खिलते हैं. मजबूत शाखाएं ही अच्छे फलों की नींव होती हैं.