बरसात में टमाटर की खेती है बेहतर विकल्प, कम लागत में कमाएं बंपर मुनाफा

स्मार्ट खेती के माध्यम से आप सब्जियों की खेती कर अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं. खासकर बरसात के मौसम में पारंपरिक खेती में फसलों को नुकसान होने की संभावना रहती है, ऐसे बरसात के मौसम में आप सब्जियां खासकर टमाटर की खेती कर अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं.

Kisan India
नोएडा | Published: 16 Aug, 2025 | 05:43 PM

आजकल हमारे देश में आत्मनिर्भरता की गूंज चारों ओर से सुनाई दे रही है. खासकर युवा वर्ग आत्मनिर्भरता की ओर खुब आकर्षित हो रहे हैं. यही कारण है कि युवा रोजगार के लिए भी स्वरोजगार करना पसंद कर रहे हैं. नौकरियां के पीछे भागने के बजाए कुछ नया, अपना और स्थायी व्यवसाय करने कि दिशा कदम बढ़ा रहे हैं. खासकर गांव के जो युवा हैं वो खेती में कुछ नई तनकीन और प्लानिंग के साथ अवसर तलाश रहे हैं. ऐसे में लोग पारंपरिक खेती के अलावा विकल्प तलाश रहे हैं जिसे आमतौर पर स्मार्ट खेती भी कहा जा रहा है. अगर आप गांव में अपना स्वरोजगार करने की सोच रहे हैं तो हम आपको आज इस खबर के माध्यम से स्मार्ट खेती के बारे में बताने जा रहे हैं. स्मार्ट खेती के माध्यम से आप सब्जियों की खेती कर अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं. खासकर बरसात के मौसम में पारंपरिक खेती में फसलों को नुकसान होने की संभावना रहती है, ऐसे बरसात के मौसम में आप सब्जियां खासकर टमाटर की खेती कर अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं.

टमाटर की हीं खेती क्यों

आपको बता दें कि टमाटर की मांग सालों भर बनी रहती है. घरेलु से लेकर होटल में हर जगह टमाटर का उपयोग किया जाता है. जब भी बरसात के मौसम में टमाटर की स्पलाई कम होने लगती है, तो इसकी दाम आसमान छूने लगती है. इसलिए इस समय में टमाटर की खेती करने की सलाह दी जाती है, जिससे किसान अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं. आपको बता दें की टमाटर की साल भर की मार्केट में डिमांड के कारण इसकी खेती किसान के लिए एक बेहतर विकल्प है.

ऐसे करें टमाटर की खेती

टमाटर की खेती के लिए सबसे पहले हमें बेहतर बीज का चुनाव करना चाहिए. खेती के लिए पहले नर्सरी तैयार करते हैं. इसलिए चयनित टमाटर के बीज को 10-15 दिन पहले बो देते हैं. नर्सरी तैयार होने के बाद खेत की जुताई अच्छे तरीके से कर लेते हैं. खेत की 3-4 बार जुताई करने की सलाह दी जाती है, ताकि मिट्टी भुरभरी हो. इससे पौधों की जड़ों को फैलने में मदद मिलेगी. फिर खेत में मेड़ लगाकर उचित दूरी पर पौधे लगाएं. मेड़ बनाने से सिंचाई में मदद मिलती है.

देखभाल के लिए ये हैं बेहतर उपाय

वैसे तो टमाटर की फसल को ज्यादा देखभाल की जरुरत नहीं होती है. लेकिन फिर भी कुछ बातों का ख्याल रखना जरुरी है. आमतौर पर देखा गया है कि फलों के भार से टमाटर के पौधे झुकने लगते हैं. ऐसे में पौधों को सीध बढ़ने के लिए धागे या रिबन की मदद से बांधने की सलाह दी जाती है. दूसरी बात, कीटों से बचाने की लिए समय-समय पर टमाटर के खेत में कीटनाश्क का छिड़काव करें. प्राकृतिक और जैविक कीटनाश्क पर्यावरण के लिए बेहतर होते हैं. अच्छे फसल उत्पादन के लिए उचित सिंचाई की भी जरुरत रहती है, लेकिन ज्यादा पानी से पौधों को नुकसान भी हो सकता है. इस लिए जलभराव की स्थिति ना होन दें.

मुनाफे का पूरा गणित

टमाटर की फसल बुवाई के लगभग दो महीने के बाद तैयार हो जाती है. ज्यादा मुनाफा सुनिश्चित करने के लिए इसकी कटाई आप कई चरणों में कर सकते हैं. बरसात के मौसम में मार्केट में टमाटर की कीमत 40 रुपए से 60 रुपए प्रति किलो ग्राम तक पहुंच जाती है, जो इसे एक बेहतर व्यवसाय का विकल्प बनाता है.

आपको बता दें कि टमाटर की खेती से कम लागत और कम देखभाल में अच्छा मुनाफा कमाया जा सकता है. यही कारण की आजकल टमाटर की खेती ग्रामीण युवाओं की पहली पसंद बन गई है.

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