हल्दी, करौंदा की खेती पर सरकार दे रही 10 हजार रुपये, स्प्रिंकलर लगवाने पर 90 फीसदी सब्सिडी पाएं किसान

हल्दी, करौंदा और बेर की मचान विधि से खेती करने के लिए किसानों को प्रति हेक्टेयर 10 हजार रुपये का अनुदान दिया जा रहा है. जबकि, सिंचाई की नई तकनीक इस्तेमाल करने के लिए 90 फीसदी तक की सब्सिडी दी जा रही है. वहीं, बागानों की घेराबंदी के लिए भी सरकार पैसा दे रही है.

नोएडा | Updated On: 12 Sep, 2025 | 07:21 PM

Uttar Pradesh News: सब्जी और बागवानी फसलों के उत्पादन को बढ़ाने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार किसानों को सब्सिडी और अनुदान दे रही है. इसके तहत करौंदा और हल्दी की खेती के लिए किसानों प्रति हेक्टेयर 10 हजार रुपये की मदद दी जा रही है. वहीं, आधुनिक यंत्रों से सिंचाई सुविधा बनाने के लिए ड्रिप और स्प्रिंकलर सिंचाई सिस्टम लगाने के लिए 90 फीसदी तक की सब्सिडी किसानों को दी जा रही है. वहीं, केला, बेर की खेती के लिए भी किसानों को सहायता राशि दी जा रही है.

उत्तर प्रदेश कृषि विभाग के प्रसार एवं प्रशिक्षण अनुभाग के अनुसार राज्य में कृषि विकास के लिए एकीकृत बागवानी मिशन के तहत किसानों को कई तरह के लाभ दिए जा रहे हैं. खासकर बागवानी फसलों के लिए किसानों को खेती में आने वाली लागत घटाने के लिए सहायता राशि उपलब्ध कराई जा रही है. बेहतर सिंचाई सुविधाओं को अपनाने के लिए किसानों को भारी सब्सिडी दी जा रही है. इसके तहत ड्रिप और स्प्रिंकलर सिंचाई सिस्टम लगवाने पर किसानों को 75 से 90 फीसदी तक की सब्सिडी दी जा रही है. इसके लिए ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं.

मचान विधि से हल्दी, करौंदा खेती पर 10 हजार रुपये

खेती और सिंचाई की पुरानी पद्धति में बदलाव कर किसान बचत के साथ ज्यादा मुनाफा कर सकते हैं. हल्दी, करौंदा और बेर की मचान विधि से खेती के लिए किसानों को प्रति हेक्टेयर 10 हजार रुपये का अनुदान दिया जा रहा है. बागवानी फसलों की सुरक्षा के लिए विभाग ने बागानों की घेराबंदी के लिए किसानों को प्रति रनिंग मीटर 150 रुपये दिए जा रहे हैं. लेकिन शर्त यह है कि किसान को बागवानी योजना में पंजीकृत होना चाहिए. इसके तहत चार लाइन तार और हर दस मीटर पर लोहे का एंगल गाड़ा जाता है.

केले की खेती करने पर 42 हजार रुपये दे रही सरकार

केले की खेती करने वाले किसानों के लिए उन्नत किस्म जी-9 प्रजाति उपलब्ध कराई जा रही है. इस किस्म के केले की खेती करने पर प्रति हेक्टेयर दो किस्तों में 42000 और 18000 रुपये का अनुदान किसानों को दिया जाता है. इसका लाभ लेने के लिए किसान केले की खेती की ओर बढ़ रहे हैं, जिससे केले की खेती का दायरा भी बढ़ा है.

प्याज की उन्नत किस्मों के बीजों दिए जा रहे

प्याज की खेती को बढ़ावा देने के लिए राज्य में प्याज किसानों को उन्नत किस्म के बीज उपलब्ध कराए जा रहे हैं. प्याज के बीज का वितरण एक जिले के लिए 50 हेक्टेयर के लिए करने के लिए टारगेट रखा गया है. उन्नत बीज मिलने से प्याज की खेती भी अधिकांश किसान करने लगे हैं.

इस तरह उठाएं योजनाओं का लाभ

किसान एकीकृत बागवानी मिशन के तहत इन योजनाओं और लाभों को हासिल करने के लिए https://uphorticulture.gov.in पर रजिस्टर कर सकते हैं या फिर अपने जिला कृषि उद्यान विभाग के कार्यालय से संपर्क कर योजना का लाभ उठा सकते हैं. आवेदन कर सकते समय योजना के फॉर्म के साथ किसानों को खेती के दस्तावेज और पहचान पत्र आदि की कॉपी जमा करनी होगी.

Published: 12 Sep, 2025 | 05:46 PM
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