Winter Tips : सिर्फ 50 ग्राम सेंधा नमक से बढ़ सकता है दूध, सर्दियों में जरूर अपनाएं ये उपाय

सर्दियों में गाय-भैंस का दूध कम होना पशुपालकों के लिए बड़ी चिंता बन जाता है. ठंड के कारण पाचन कमजोर पड़ता है और उत्पादन प्रभावित होता है. कुछ आसान घरेलू उपाय अपनाकर पशुओं की सेहत सुधारी जा सकती है और ठंड में भी दूध की मात्रा बेहतर बनी रह सकती है.

Saurabh Sharma
नोएडा | Published: 26 Dec, 2025 | 11:26 AM
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Winter Tips : सर्दियों का मौसम इंसानों के लिए चाहे कितना भी सुहावना क्यों न हो, लेकिन पशुपालकों के लिए यह किसी परीक्षा से कम नहीं होता. जैसे ही ठंड बढ़ती है, गाय-भैंस का दूध धीरे-धीरे कम होने लगता है. इससे घर की आमदनी पर सीधा असर पड़ता है और पशुपालक परेशान हो जाते हैं. लेकिन अच्छी खबर यह है कि कुछ आसान और घरेलू उपाय अपनाकर इस समस्या से बचा जा सकता है और ठंड में भी भरपूर दूध पाया जा सकता है.

ठंड में क्यों घटने लगता है दूध

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, सर्दियों में तापमान  गिरते ही पशुओं के शरीर पर इसका सीधा असर पड़ता है. ठंड बढ़ने से उनकी पाचन शक्ति कमजोर हो जाती है और खाया हुआ चारा ठीक से नहीं पच पाता. शरीर को गर्म बनाए रखने के लिए पशुओं को ज्यादा ऊर्जा खर्च करनी पड़ती है, जिससे दूध बनने की प्रक्रिया प्रभावित होती है. कई मामलों में देखा जाता है कि पशु सर्दियों में कम चारा खाते हैं या उनकी भूख घट जाती है. इसका नतीजा यह होता है कि दूध उत्पादन धीरे-धीरे कम होने लगता है. यही कारण है कि ठंड के मौसम में पशुपालकों की चिंता बढ़ जाती है और आमदनी पर भी असर पड़ता है.

पाचन मजबूत करेगा ये देसी नुस्खा

सर्दियों में पशुओं के चारे में रोजाना करीब 50 ग्राम सेंधा नमक  मिलाकर खिलाना काफी फायदेमंद होता है. सेंधा नमक पाचन को दुरुस्त करता है और शरीर में जरूरी मिनरल्स की कमी पूरी करता है. इससे पशु ज्यादा सक्रिय रहते हैं और दूध देने की क्षमता अपने आप बढ़ने लगती है. कई पशुपालकों का अनुभव है कि इस उपाय से दूध उत्पादन में अच्छा सुधार देखा गया है.

गुड़ और गर्माहट से मिलेगा डबल फायदा

सिर्फ सेंधा नमक ही नहीं, बल्कि 250 ग्राम गुड़ रोजाना चारे में मिलाकर देना भी ठंड में बहुत कारगर माना गया है. गुड़ शरीर को अंदर से गर्म रखता है और पशुओं को तुरंत ऊर्जा देता है. इसके साथ ही रात के समय पशुओं को ठंड  से बचाने के लिए अलाव जलाना या टाट के बोरे से ढकना भी जरूरी है. इससे पशुओं को ठंड नहीं लगती और उनका पाचन ठीक बना रहता है, जिसका सीधा असर दूध पर पड़ता है.

साफ-सफाई और चारे की सावधानी है जरूरी

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, सर्दियों में गंदगी और नमी से बीमारियों का खतरा कई गुना बढ़ जाता है. जहां पशु रहते हैं वहां पानी जमा न होने दें और जगह साफ रखें. गंदगी से संक्रमण फैलता  है, जिससे पशु बीमार पड़ सकते हैं और दूध उत्पादन कम हो जाता है. साथ ही चारा देते समय ध्यान रखें कि वह खराब या जहरीला न हो. सर्दियों में खराब चारा जल्दी नुकसान करता है.

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