Bihar Assembly Election 2025: मनीष कश्यप, जिनका असली नाम त्रिपुरारी कुमार तिवारी है, बिहार के पश्चिम चंपारण जिले के महनवा गांव के रहने वाले हैं. 9 मार्च 1991 को जन्मे मनीष ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा गांव के स्कूल से प्राप्त की. बचपन में ही उनके अंदर समाज और राजनीति के प्रति रुचि जाग्रत हो गई थी. गाँव के सामाजिक कार्यक्रमों और स्थानीय समस्याओं को देखकर मनीष ने हमेशा सोचा कि कैसे एक सामान्य व्यक्ति समाज में बदलाव ला सकता है.
इसके बाद, उन्होंने पुणे की सावित्रीबाई फुले विश्वविद्यालय से सिविल इंजीनियरिंग में डिग्री हासिल की. हालांकि, इंजीनियरिंग का करियर शुरू करने के बजाय, उनका मन पत्रकारिता और समाज सेवा की ओर आकर्षित हुआ. उन्होंने महसूस किया कि समाज में मौजूद भ्रष्टाचार, बेरोजगारी और अन्य समस्याओं को उजागर करना ज्यादा महत्वपूर्ण है. इसी सोच के साथ उन्होंने मीडिया और डिजिटल प्लेटफॉर्म की ओर कदम बढ़ाया.
यूट्यूब चैनल ‘सच तक’ की शुरुआत
2018 में, मनीष ने ‘सच तक’ (Sach Tak) नामक यूट्यूब चैनल शुरू किया. इस चैनल के माध्यम से उन्होंने बिहार के ग्रामीण इलाकों में हो रही समस्याओं, भ्रष्टाचार और सरकारी नीतियों पर रिपोर्टिंग करना शुरू किया. उनकी रिपोर्टिंग का अंदाज बिल्कुल सच्चाई पर आधारित और बेबाक था. वे लोगों को मुद्दों की वास्तविक तस्वीर दिखाते थे, जिससे उनके दर्शक सीधे तौर पर जुड़ पाते थे.

Youtuber Manish Kashyap In Jan Suraj
चैनल ने जल्दी ही लोकप्रियता हासिल की. लाखों लोग उनके वीडियोज़ देखते और उनके विचारों से प्रभावित होते. उनके चैनल पर करोड़ों व्यूज़ और लाखों सब्सक्राइबर हो गए. युवा वर्ग में उनकी लोकप्रियता इस कदर बढ़ी कि उन्हें केवल यूट्यूबर के रूप में नहीं, बल्कि सामाजिक नेता के रूप में भी देखा जाने लगा.
विवाद और गिरफ्तारी
मार्च 2023 में, मनीष कश्यप विवादों में भी फंस गए. उन्हें तमिलनाडु में बिहारी मजदूरों पर हमले के फर्जी वीडियो फैलाने के आरोप में गिरफ्तार किया गया. इस घटना ने उन्हें राष्ट्रीय स्तर पर चर्चा में ला दिया. हालांकि, मनीष ने हमेशा कहा कि उन्होंने कोई गलत जानकारी नहीं फैलाई थी और उनके खिलाफ मामला राजनीतिक रूप से भड़काया गया. बाद में उन्हें जमानत मिल गई और वे जेल से बाहर आए. इस घटना ने उनकी छवि को कुछ हद तक प्रभावित किया, लेकिन उनकी लोकप्रियता युवा वर्ग के बीच बनी रही.

Manish Kashyap Arrest
भारतीय जनता पार्टी (BJP) में प्रवेश
अप्रैल 2024 में, मनीष कश्यप ने भारतीय जनता पार्टी (BJP) जॉइन की. उन्होंने कहा कि उनका उद्देश्य बिहार को भ्रष्टाचार से मुक्त करना और राज्य में विकास के लिए काम करना है. पार्टी में शामिल होते ही उन्होंने ललू परिवार और अन्य राजनीतिक मुद्दों पर खुलकर अपनी राय दी. उन्होंने लोगों को भरोसा दिलाया कि वे बिहार में बदलाव लाने के लिए पूरी ईमानदारी से काम करेंगे.
हालांकि, पार्टी में उनकी उम्मीदें पूरी नहीं हुईं. 2025 में मनीष ने BJP से इस्तीफा दे दिया. उन्होंने कहा कि पार्टी में उन्हें अपनी आवाज़ सुनाई नहीं देती और उनका काम और विचार सीमित कर दिए गए थे. इस इस्तीफे ने उन्हें फिर से जनता के सामने एक स्वतंत्र और बेबाक नेता के रूप में पेश किया.
जन सुराज पार्टी में शामिल होना
जून 2025 में, मनीष कश्यप ने प्रशांत किशोर की नई पार्टी “जन सुराज” जॉइन की. उन्होंने चनपटिया विधानसभा सीट से चुनाव लड़ने की घोषणा की. प्रशांत किशोर ने मनीष को बिहार के लिए एक सच्चे सपूत के रूप में सराहा और कहा कि मनीष में बदलाव लाने की क्षमता है. इसके साथ ही मनीष ने अपने समर्थकों से वादा किया कि वे बिहार के युवाओं के लिए नई राह खोलेंगे और राज्य में ईमानदारी और विकास के लिए काम करेंगे.

Manish Kashyap In Jan Suraj
मनीष कश्यप की यात्रा यह दिखाती है कि एक साधारण व्यक्ति भी अपने जुनून, मेहनत और ईमानदारी के बल पर राजनीति और समाज में पहचान बना सकता है. यूट्यूबर से नेता बनने की उनकी कहानी युवा वर्ग के लिए प्रेरणा का स्रोत है. यह कहानी यह भी बताती है कि कठिनाइयां, विवाद और असफलताएँ भी अगर सही दिशा में प्रयत्न करने की लगन हो, तो सफलता का मार्ग आसान बना सकती हैं. मनीष कश्यप ने यह साबित किया कि समाज और राजनीति में बदलाव लाने के लिए साहस, स्पष्ट दृष्टिकोण और ईमानदारी जरूरी है.