गांव की इन महिलाओं से बुंदेलखंड को मिली नई पहचान, 8 साल पहले शुरू किया बिजनेस..आज 574 करोड़ का टर्नओवर

उत्तर प्रदेश के बुंदेलखंड इलाके की ग्रामीण महिलाओं ने अपनी मेहनत से सफलता की नई इबारत लिख दी है. उनकी मेहनत और लगन ने आज बुंदेलखंड की तस्वीर बदल कर रख दी है. साथ ही ये महिलाएं देशभर की अन्य महिलाओं के लिए एक मिसाल भी बन गई हैं.

अनामिका अस्थाना
नोएडा | Published: 29 Sep, 2025 | 10:08 PM

Uttar Pradesh News: उत्तर प्रदेश से जुड़ा बुंदेलखंड जो महज एक दशक पहले तक सूखा, अकाल और आपदाग्रस्त खेती के लिए कुख्यात हो चुका था. लेकिन अब बुंदेलखंड के साथ जुड़ी बदहाली की तस्वीर अब बदलने लगी है. कारण है यहां की ग्रामीण महिलाएं जिन्होंने बुंदेलखंड को एक नई पहचान दिलाने की जिम्मेदारी उठाई है. यहां की ग्रामीम महिलाओं की कोशिशों और मेहनत का ही नतीजा है कि जिस बुंदेलखंड में कभी सूखा रहता था वहां की महिलाएं आज डेयरा कारोबार कर न केवल गांव की तस्वीर बदल रही हैं, बल्कि खुद को भी आत्मनिर्भर बना रही हैं. आज बुंदेलखंड इलाके के गांवों से उत्पादित लाखों लीटर दूध दिल्ली की सेहत को भी तंदुरुस्त कर रहा है.

8 साल पहले महिलाओं ने शुरू किया कारोबार

बुंदेलखंड की इस बदलती हुई तस्वीर का श्रेय बालिनी मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी को जाता है, जिसकी शुरुआत 8 साल पहले हुई थी. ये कंपनी सहकारिता मॉडल  पर आधारित है. बता दें कि, बुंदेलखंड की वो महिलाएं जो कभी बदहाली का जीवन जीने को मजबूर थीं, वो हजारों महिलाएं आज सम्मान भरा जीवन जी रही हैं. 8 साल पहले उत्तर प्रदेश सरकार  की पहल पर झांसी जिले की महज 800 महिलाओं ने मिलकर एक डेयरी कंपनी गठित की थी, जिसको नाम दिया गया बालिनी मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी . कंपनी के सीईओ डॉ ओपी सिंह ने बताया कि गांवों में दूध इकट्ठा करने से लेकर डेयरी लचाने तक का सारा काम ये ग्रामीण महिलाएं ही कर रही हैं, और इन महिलाओं को मेहनत का ही फल है कि आज ये दूध कंपनी बुंदेलखंड के सभी 7 जिलों में पहुंच गई है.

574 करोड़ का टर्नओवर

कंपनी की निदेशक मंडल की अध्यक्ष आरती राजपूत ने बलिनी की 8वीं वार्षिक बैठक में बताया कि पिछले वित्तीय वर्ष 2024-25 में कंपनी के टर्नओवर में हर साल की तरह इस साल भी लगातार बढोतरी दर्ज की गई है. उन्होंने बताया कि पिछले वित्तीय वर्ष में कंपनी का सालाना कारोबार 520 करोड रुपये था, जो कि अब बढकर 574 करोड रुपये हो गया है. बता दें कि, कंपनी द्वारा प्रोसस्ड किया गया दूध मडर डेयरी को बेटा जाता है. उन्होंने बताया कि अबतक इस कंपनी से 88 हजार महिलाएं जुड़ चुकी हैं.

नारी शक्ति का अनोखा प्रदर्शन

बुंदेलखंड की इन ग्रामीण महिलाओं ने देशभर मे नारी शक्ति का अनोखा प्रदर्शन किया है. इन महिलाओं को जिक्र खुद पीएम मोदी अपने मन की बात कार्यक्रम में कर चुके हैं. बता दें कि, ये महलिाएं अब दुधारू पशुओं  के लिए पोषक आहार भी बनाकर पशुपालकों को सस्ती दर पर उपलब्ध कराती हैं. इसके साथ ही उन्नत क्वालिटी वाला घी बनाकर उपभोक्ताओं तक पहुंचा रही हैं. इन महिलाओं ने इसी कड़ी में एक उत्पाद और जोड़ दिया है, वो है बलिनी का पनीर जिसे कंपनी की 8वीं वार्षिक बैठक में लॉन्च किया गया.

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