Farming Tips: आजकल बाजार में सब्जियों के दाम तेजी से बढ़ रहे हैं. टमाटर, प्याज और हरी सब्जियों के साथ शिमला मिर्च (कैप्सिकम) भी महंगी हो गई है. ऐसे में कई लोग छत, बालकनी या आंगन में खुद सब्जियां उगाने का विकल्प चुन रहे हैं. घर पर उगाई गई सब्जियां न सिर्फ ताजी और शुद्ध होती हैं, बल्कि यह जेब पर भी हल्की पड़ती हैं. शिमला मिर्च स्वाद और पौष्टिकता दोनों के लिहाज से खास सब्जी है. इसमें विटामिन C, एंटीऑक्सीडेंट्स और फाइबर भरपूर मात्रा में होते हैं, जो इम्यूनिटी बढ़ाने और पाचन को दुरुस्त रखने में मदद करते हैं. आइए जानते हैं कि अपनी छत या बालकनी में शिमला मिर्च उगाने का आसान तरीका और कुछ जरूरी टिप्स.
मिट्टी और गमले की तैयारी
शिमला मिर्च उगाने के लिए हल्की और भुरभुरी मिट्टी सबसे अच्छी रहती है. आप 60 फीसदी गार्डन सॉइल, 20 फीसदी गोबर की खाद और 20 फीसदी रेत का मिश्रण तैयार कर सकते हैं. इससे मिट्टी में नमी बनी रहती है और पौधे को पर्याप्त पोषण मिलता है. गमला या ग्रो बैग कम से कम 12 इंच गहरा होना चाहिए, ताकि जड़ें आसानी से फैल सकें. गमले के नीचे पानी निकासी के लिए छेद होना जरूरी है, ताकि अतिरिक्त पानी जमा न हो और जड़ों को सड़ने से बचाया जा सके.
बीज बोने का सही समय
शिमला मिर्च को फरवरी से अप्रैल या जुलाई से सितंबर तक आसानी से लगाया जा सकता है. सबसे पहले अच्छे क्वालिटी के बीज लें और उन्हें 24 घंटे पानी में भिगोकर रखें. इससे बीज जल्दी अंकुरित होंगे. बीजों को 1 से 1.5 सेंटीमीटर गहराई में मिट्टी में दबाएं और हल्का पानी दें. 7 से 10 दिनों में छोटे-छोटे पौधे निकलने लगेंगे.
पौधों की देखभाल
जब पौधे 4–5 इंच के हो जाएं, तब इन्हें अलग-अलग गमलों में ट्रांसप्लांट करें. शिमला मिर्च को भरपूर धूप की जरूरत होती है, इसलिए गमलों को ऐसी जगह रखें जहां रोजाना 5–6 घंटे सीधी धूप मिले. पानी नियमित दें लेकिन ध्यान रखें कि मिट्टी में पानी भरकर न खड़ा हो. गर्मी में रोजाना और सर्दी में 2-3 दिन के अंतर पर पानी देना पर्याप्त है. महीने में एक बार जैविक खाद जैसे नीम खली, वर्मी कम्पोस्ट या गोबर की खाद डालें.
फूल और फल आने का समय
शिमला मिर्च का पौधा लगभग 60–70 दिनों में फूल देना शुरू करता है और 90–100 दिनों में फल तोड़ने लायक हो जाते हैं. फल हरे से लाल, पीले या नारंगी रंग में बदल सकते हैं, यह किस्म पर निर्भर करता है. फल को तब तोड़ें जब वे अच्छी तरह चमकदार और आकार में बड़े हो जाएं.
कीट और रोग से बचाव
शिमला मिर्च में एफिड्स (चूसक कीड़े) और सफेद मक्खी का अटैक हो सकता है. इसके लिए नीम का तेल या साबुन वाला पानी छिड़कें. रासायनिक कीटनाशकों से बचें ताकि सब्जी पूरी तरह जैविक रहे.
फायदे और उपयोग
घर पर उगाई शिमला मिर्च ताजा और कीटनाशक मुक्त होती है. आप इसे सलाद, सब्जी, पिज्जा, पास्ता या सूप में इस्तेमाल कर सकते हैं. नियमित सेवन से इम्यूनिटी मजबूत होती है, त्वचा चमकदार रहती है और आंखों की रोशनी भी बेहतर होती है.
अगर आप भी महंगाई से परेशान हैं तो अपनी छत पर शिमला मिर्च उगाकर न सिर्फ खर्चा बचा सकते हैं बल्कि ताजी और पोषक सब्जी का मजा भी ले सकते हैं. थोड़ी सी मेहनत और सही देखभाल के साथ यह पौधा आपके किचन गार्डन की शान बन सकता है.