Marua Plant Benefits: आजकल शहरों में बड़ी-बड़ी इमारतों में रहने वाले लोगों के बीच किचन गार्डनिंग का चलन तेजी से बढ़ रहा है और लोग इसमें हरी सब्जियां, औषधीय पौधे और मसाले उगाना पसंद कर रहे हैं. ऐसे में अगर आप भी किचन गार्डनिंग का शौक रखते हैं तो मरुआ का पौधा लगाना आपके लिए काफी फायदेमंद हो सकता है. यह पौधा इसलिए खास है, क्योंकि ये सेहत से जुड़े फायदे देने के साथ-साथ मच्छरों से भी बचाता है. अगर आप अपने घर में मच्छरों से परेशान हैं तो मरुआ का पौधा आपके लिए बड़े काम की चीज है, क्योंकि ये पौधा मच्छरों को दूर करने में मदद करता है.
तेज सुगंध से मच्छर रहते हैं दूर
घर में मोजूद मच्छर कई तरह की बीमारियों को बुलाते हैं जो कि कई बार जानलेवा भी हो सकती है. ऐसे में अगर आप अपने किचन गार्डन में मरुआ का पौधा लगा लेते हैं तो आपको मच्छरों से छुटकारा मिल सकता है. दरअसल, मरुआ की पत्तियों से निकलने वाली तेज सुगंध मच्छरों और अन्य कीटों को दूर रखने में मदद करती है. बता दें कि इस पौधे को घर के आंगन, बालकनी या खिड़की के पास लगाने से मच्छरों से होने वाली बीमारियों जैसे डेंगू, मलेरिया और चिकनगुनिया से सुरक्षा मिलती है.
औषधीय गुणों से है भरपूर
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, मरुआ का पौधा कई तरह की औषधीय गुणों से भरपूर है. मरुआ की पत्तियों का इस्तेमाल चाय या काढ़े में करने से शरीर की पाचन क्रिया ठीक होती है और पाचन शक्ति भी बढ़ती है. इसके सेवन से अपच जैसी समस्या से आराम मिलता है. साथ ही इसमें मौजूद औषधीय तत्व गले की खराश और सर्दी-जुकाम में राहत देते हैं और इसकी खुशबू मन को शांत करती है और मानसिक तनाव को कम करने में मदद करती है. बता दें कि, मरुआ में एंटी-बैक्टीरियल और एंटी-ऑक्सीडेंट गुण भी पाए जाते हैं जो कि शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने का काम करते हैं.
ऐसे लगाएं किचन गार्डन में पौधा
मरुआ का पौधा अच्छी जल निकासी वाली उपजाऊ मिट्टी में बेहतर तरीके से पनपता है. इसे बढ़ने के लिए जरूरी है कि इसे धूप वाली जगह पर लगाया जाए, ताकि पौधे की ग्रोथ तेज हो. बात करें सिंचाई की तो मरुआ के पौधे को हफ्ते में 2 से 3 बार हल्की सिंचाई की जरूरत होती है. इसको लगाने के 30 से 40 दिन बाद इसकी पत्तियां तैयार हो जाती हैं, जिन्हें तोड़कर इस्तेमाल में लाया जा सकता है.