बिजली बिल के खिलाफ सड़कों पर किसान, रेलवे ट्रैक रोका तो कई हिरासत में.. अब 17 को बड़ा आंदोलन होगा

किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने कहा कि बिजली संशोधन विधेयक 2025 पर राज्यों की राय ली जा रही है. लेकिन, भगवंत मान सरकार की चुप्पी साबित करती है कि वह केंद्र के साथ खड़ी है. उन्होंने कहा कि मान सरकार की ओर से यह लिखित में दिया जाना चाहिए कि बिजली का विषय राज्यों के अधिकार क्षेत्र का है.

रिजवान नूर खान
नोएडा | Published: 7 Dec, 2025 | 12:09 PM

केंद्र सरकार के बिजली संशोधन विधेयक के विरोध में पंजाब के किसान सरवन सिंह पंढेर के नेतृत्व में बीते नवंबर महीने से धरना प्रदर्शन और पुतला दहन के जरिए राज्य सरकार को जगाने की कोशिश कर रहे थे, लेकिन मामले पर सुनवाई नहीं होने पर किसानों ने अमृतसर में रेल रोको आंदोलन के तहत कई घंटे तक रेलवे ट्रैक जाम कर दिया है. सूचना पर पहुंचे पुलिस प्रशासन के साथ तनातनी भी हुई और पुलिस ने कई किसानों को हिरासत में ले लिया, बाद में किसानों ने ट्रैक खाली कर दिया तो हिरासत में लिए गए किसानों को छोड़ दिया गया. अब किसानों ने 17 दिसंबर को पूरे पंजाब में प्रदर्शन और आंदोलन की चेतावनी दी है.

रेल रोको आंदोलन पर पंजाब में कई किसान हिरासत में लिए गए

किसान मंजदूर मोर्चा के आह्वान पर पंजाब के किसानों ने अमृतसर के पास रेलवे ट्रैक को जाम कर दिया. किसान संगठन ने बयान में कहा है कि अमृतसर के देवीदास पुरा के पास 2 घंटे की सिग्नल ट्रेन रोकी गई. इस दौरान पुलिस प्रशासन के साथ तनातनी भी हुई और कई बड़े नेताओं को हिरासत में पुलिस ने लिया. बाद में किसान नेताओं को छोड़ने पर रेलवे ट्रैक किसानों ने खाली कर दिया.

केंद्रीय बिजली बिल पर पंजाब की चुप्पी से बढ़ रही नाराजगी

किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने कहा कि बिजली संशोधन विधेयक 2025 के मसौदे पर राज्यों की राय ली जा रही है. लेकिन भगवंत मान सरकार की चुप्पी साबित करती है कि वह केंद्र के साथ खड़ी है. उन्होंने कहा कि यह लिखित में दिया जाना चाहिए कि बिजली का विषय राज्यों के अधिकार क्षेत्र का है, इसलिए केंद्र को इसमें हस्तक्षेप नहीं करना चाहिए, लेकिन सभी राजनेता गूंगे हैं.

मान सरकार ने नहीं सुना तो किसान मोर्चा खड़ा होगा

किसान मजदूर मोर्चा के पंजाब प्रदेश नेता कंवरदलीप सैडोलेहल ने कहा कि लोगों ने सरकार को बताया कि हम इस बिल के खिलाफ कितने हैं, इसलिए भगवंत मान तुरंत इस बिल के विरोध में वोट देकर केंद्र सरकार को भेजे और केंद्र सरकार किसानों के हक पर डाका मारने का रवैया बंद करे. लोगों से बिल के खिलाफ बड़े पैमाने पर संघर्ष के लिए तैयार होने का आग्रह किया और आने वाले दिनों में किसान मजदूर मोर्चा इंडिया की ओर से बड़े धरना प्रदर्शन किए जाएंगे.

17 दिसंबर को राज्यभर में धरना- प्रदर्शन का ऐलान

किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने कहा कि किसान मजदूर मोर्चा पंजाब में 17 दिसंबर 2025 को राज्य के सभी DC ऑफिसों यानी उपायुक्तों के कार्यालयों में मोर्चा शुरू करेगा. उन्होंने कहा कि पंजाब सरकार किसानों के साथ बातचीत करे और उनकी मांगों का निपटारा करे.

बिजली संशोधन विधेयक के विरोध का कारण

किसान केंद्र के इलेक्ट्रिसिटी (अमेंडमेंट) बिल 2025 के ड्राफ्ट का विरोध कर रहे हैं. वे इसे किसान विरोधी बता रहे हैं. उनका कहना है कि इससे भारतीय बिजली सिस्टम का प्राइवेटाइजेशन और सेंट्रलाइजेशन होगा. जो किसानों के लिए बेहद घातक होगा.
किसानों को चिंता है कि बिजली बिल पास होने से प्राइवेट सेक्टर और केंद्र के हाथों में यह क्षेत्र चला जाएगा. उसके बाद बिजली दरों में मनमाने तरीके से बढ़ोत्तरी होगी और राज्यों की ओर से दी जा रही सब्सिडी या अन्य योजनाओं को लागू नहीं किया जा सकेगा.

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