Cumin cultivation: जीरा एक ऐसा मसाला है, जिसके बगैर हम टेस्टी सब्जी या दाल की कल्पना भी नहीं कर सकते हैं. क्योंकि जीरा का तड़का लगाते ही किसी भी व्यंजन का स्वाद लजीज हो जाता है. लेकिन कई बार मार्केट में जीरे का रेट बहुत बढ़ जाता है. ऐसे में आम लोगें के किचन का बजट बिगड़ जाता है. ऐसे में आज हम आपको कुछ ऐसे तरीके बताएंगे, जिसे अपनाकर आप किचन गार्डन या घर की छत पर जीरे को उगा सकते हैं. इससे आपको पूरी तरह से जैविक जीरा भी मिलेगा और पैसों की भी बचत होगी.
दरअसल, जीरा भारतीय रसोई में एक ऐसा जरूरी मसाला है, जिसे खाना बनाने के साथ-साथ आयुर्वेदिक दवाओं के रूप में भी इस्तेमाल किया जाता है. पर बहुत लोगों को लगता है, जीरा केवल राजस्थान और गुजरात के किसान ही उगा सकते हैं, लेकिन ऐसी बात नहीं है. अब आप जीरा खुद अपने घर की बालकनी या छत पर भी आसानी से उगा सकते हैं. इससे आपको न बाजार से लाने की झंझट और न मिलावट का डर रहेगा. बस थोड़ा सा ध्यान देने की जरूरत है.
कितनी होनी चाहिए गमले की गहराई
घर पर जीरा उगाने के लिए सबसे पहले अच्छे और शुद्ध बीज का चुनाव करें. कोशिश करें कि बाजार से ऑर्गेनिक और बिना मिलावट वाले बीज ही खरीदें. ध्यान रखें, किचन में इस्तेमाल होने वाला जीरा बीज के लिए सही नहीं होता, क्योंकि उसमें अंकुर फूटने की क्षमता कम होती है. खास बात यह है कि जीरे को उगाने के लिए बहुत बड़ी जगह की जरूरत नहीं होती. एक मीडियम साइज का गमला काफी है, जिसकी गहराई कम से कम 6-8 इंच होनी चाहिए.
इस तरह तैयार करें मिट्टी
हालांकि, गमले में जीरे की बुवाई करने से पहले मिट्टी को अच्छी तरह से तैयार कर लें. इसके लिए 60 फीसदी गार्डन सॉयल में 20 फीसदी कोकोपीट और 20 फीसदी सड़ी हुई गोबर की खाद को मिलकार मिक्सचर तैयार कर लें. अब यह मिक्सचर नरम और पोषक तत्वों से भरपूर होगी, जिससे पौधे अच्छी तरह बढ़ेंगे और नमी भी बनी रहेगी. फिर आप गमले में इस मिक्सर को डाल दें.
गमले को रोज 5 घंटे के लिए धूप में रखें
जीरे के बीज सीधे मिट्टी में करीब 1 सेमी गहराई पर बो दें. ऊपर से हल्की मिट्टी डालें और थोड़ा पानी छिड़कें. ध्यान रखें, गमले में पानी जमा न हो. बीज बोने के बाद गमले को ऐसी जगह रखें जहां हल्की धूप आती हो. ऐसे जीरे को ज्यादा पानी की जरूरत नहीं होती. हफ्ते में 2 बार थोड़ा-थोड़ा पानी देना काफी है. गमला ऐसी जगह रखें जहां रोज 5- 6 घंटे की सीधी धूप मिल सके, ताकि पौधे अच्छी तरह से बढ़े.
इतने महीने में तैयार हो जाएगी फसल
बुवाई के लगभग 3- 4 महीने में पौधा तैयार हो जाता है. जब पत्ते पीले पड़ने लगें और बीज सूख जाएं, तब कटाई करें. बीजों को अच्छी तरह सुखाकर स्टोर कर लें और जरूरत पर रसोई में इस्तेमाल करें. इस तरह आप घर पर ही ताजा, शुद्ध और ऑर्गेनिक जीरा उगा सकते हैं.